मई में क्षतिग्रस्त की थी भैरव प्रतिमा, 8 दिन पहले हुई थी रिहा
उज्जैन, अग्निपथ। शिवलिंग तोडऩे वाली महिला को गुरुवार को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। उसका कहना है कि शिवजी ने जीवन तकलीफों से भर दिया। मेरी भगवान सुनते नहीं हैं। इसके पहले भी महिला भैरव प्रतिमा को तोड़ चुकी है और 8 दिन पहले ही जेल से बाहर आई है।
चिमनगंज थाने के एसआई सचिन्द्रसिंह सेंधव ने बताया कि अंकपात मार्ग पर 18-19 जुलाई की रात अग्रवाल समाज की जमीन पर बने पुरुषोत्तम मंदिर परिसर में स्थापित शिवलिंग तोडऩे के मामले में धार्मिक भावना को ठेस पहुंचाने का मामला दर्ज कर जांच शुरू की गई थी। शिवलिंग अतिरिक्त विश्व बैंक कालोनी में रहने वाली लता पति सुरेश राव ने तोड़ा था। जिसे गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया गया है। महिला की दिमागी हालत खराब है, उसका कहना था कि शिवजी से नाराज थी। जीवन तकलीफ से भर दिया था। मेरी सुनते नहीं है। उसकी बाते उटपटांग थी। परिवार भी उसकी हरकतों से परेशान है। न्यायालय से उसे जेल भेजा गया है।
भगवान से नाराज होकर तोड़ी थी भैरव प्रतिमा
शिवलिंग तोडऩे वाली महिला ने 15 मई की रात कृषि उपज मंडी स्थित भैरव मंदिर में प्रतिमा को क्षतिग्रस्त कर दिया था। उस दौरान परिसर में लगे कैमरे में उसकी हरकत कैद हुई थी। 22 मई को गिरफ्तार करने के बाद उसे जेल भेज दिया गया था। 8 दिन पहले ही उसे धार्मिक भावना को ठेस पहुंचाने के मामले में जमानत पर रिहा किया गया था। उस दौरान भी उसका कहना था कि भगवान मेरी नहीं सुनते थे। इसलिये क्षतिग्रस्त की है। जहां भी दिखेगी तोड़ दूंगी।
ई-रिक्शा चालक से मिला सुराग
एसआई सेंधव के अनुसार मामले की जांच के दौरान ई-रिक्शा चालक ने सूचना दी थी कि पिछले दिनों शिवलिंग महिला ने तोड़ा है। घटना वाली रात वह फर्शी लेकर घूम रही थी। सवारी छोडक़र लौटते समय उसने फर्शी हाथ में देख पूछा था कि कहां जाना है। महिला ने कहा था कि अपना काम कर। उसके बाद क्षेत्र में लगे कैमरे देखे गये। जिसमें महिला दिखाई दी।