जावरा, अग्निपथ। ताल थाना परिसर के बाहर बरसते पानी में धरने और अनशन पर बैठे शामगढ़ के भाजपा नेता के परिवार ने गुरुवार देर रात अपना अनशन तोड़ दिया। ताल थाना प्रभारी अमित सारस्वत ने धरने पर बैठे परिवार को मनाया और अपने व्यवहार के लिए माफी मांगी गई। जिसके बाद परिवार ने तीन दिन से जारी धरना और अनशन खत्म कर दिया।
दरअसल ताल थाना परिसर के बाहर धरने पर बैठे मंदसौर जिले के शामगढ़ के भाजयुमो नगर अध्यक्ष विमल राठौर परिवार के साथ तीन दिन से धरने पर बैठे थे। तीन साल की बेटी और पत्नी सहित अनशन कर रहे राठौर का आरोप था कि ताल थाना क्षेत्र स्थित मनुनिया महादेव के पिछले दिनों दर्शन करने आने के दौरान उनकी गाड़ी पार्किंग के रास्ते में फंस गई थी। थाना प्रभारी ने कार चला रहे विमल राठौर को थप्पड़ मार दिया।
बेवजह मारपीट किए जाने का विरोध करने पर विमल राठौर की पत्नी, पिता और माता को भी थाना प्रभारी ने अपशब्द कहे थे। जिसकी शिकायत करने जब वे ताल थाना पहुंचे तो थाने पर मौजूद पुलिसकर्मियों ने उनकी शिकायत लेने से भी मना कर दिया था। जिसके बाद उन्होंने रतलाम पुलिस अधीक्षक कार्यालय में शिकायत की लेकिन पुलिस अधीक्षक द्वारा कार्रवाई नहीं किए जाने के विरोध में यह परिवार अनिश्चितकालीन धरने पर बैठ गया था।
गुरुवार को तेज बारिश के बीच भी राठौर के साथ उनकी पत्नी सपना व बच्चे भी अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे थे। इसी दौरान पुलिस विभाग द्वारा थाना प्रभारी अमित सारस्वत का स्थानांतरण बालाघाट कर दिया गया है। लेकिन राठौर परिवार सारस्वत के निलंबन की मांग पर अड़ा हुआ था।
इसके बाद गुरुवार देर रात थाना प्रभारी अमित सारस्वत ने परिवार के पास पहुंचकर अपने व्यवहार के लिए खेद व्यक्त किया और उन्हें तकलीफ पहुंचने पर माफी मांगी गई। थाना प्रभारी द्वारा माफी मांगे जाने पर पीडि़त परिवार धरना और अनशन खत्म कर वापस शामगढ़ लौट गया।