महिला बाल विकास और चाइल्ड लाइन की टीम ने की कार्रवाई, अपहरण की आशंका में व्यापारियों ने रोकी कार
उज्जैन, अग्निपथ। श्री महाकालेश्वर मंदिर के बाहर तिलक टीका लगाने वाले बाल भिक्षुकों को अचानक ही कुछ लोगों ने एक सफेद कार में डाल लिया। यह देखकर आसपास के हारफूल व्यापारी और लोगों ने कार को घेर लिया और दोनों ही बच्चों को कार से नीचे उतार लिया। बाद में पता पड़ा कि महिला बाल विकास और चाइल्ड लाइन की टीम द्वारा गुरुवार को अचानक ये कार्रवाई की गई थी। जिसे लोग अपहरण की घटना मान रहे थे।
नववर्ष के आगमन को देखते हुए श्रद्धालुओं की भीड़ भगवान महाकाल के दर्शन को उमड़ रही है। गुरुवार को कलेक्टर के निर्देश के पश्चात महिला बाल विकास और चाइल्डलाइन की टीम दो कारों से महाकालेश्वर मंदिर के गेट नंबर 4 पर पहुंची और उन्होंने तिलक टीका लगाने वाले दो बाल भिक्षुकों को उठाकर कार क्रमांक एमपी 13- सीसी- 0771 में डाल लिया।
इस अप्रत्याशित घटना को देखकर वहां के हार-फूल व्यापारी एकत्रित हो गए और उन्होंने कार को रोक लिया। यहां तक कि कई हार फूल व्यवसाई अधिकारियों से विवाद करने पर उतारू हो गए और उन्होंने जबरन दोनों बालिकाओं को कार से उतार लिया। ये व्यापारी इन्हें अपहरणकर्ता मान रहे थे। जब अधिकारियों ने उनको अपना परिचय दिया तब मामला शांत हुआ। व्यापारियों का कहना था कि बिना पुलिस के यह कार्रवाई क्यों की गई। बाद में टीम ने फोन कर पुलिस को मौके पर बुला लिया।
लोगों से पिट जाती टीम
महिला बाल विकास और चाइल्डलाइन की टीम द्वारा इस प्रकार की गई अप्रत्याशित बच्चियों के अपहरण की घटना को अंजाम दिए जाने के बाद हारफुल व्यवसाई और अन्य लोगों की भीड़ अपना हाथ साफ करने का प्रयास करने ही वाली थी। लेकिन टीम के गजेंद्र सिंह तोमर द्वारा समझाइश देने के पश्चात मानी । टीम के गजेंद्र सिंह तोमर का कहना था कि कलेक्टर के निर्देश के पश्चात टीम यहां पर पहुंची थी और लगभग एक सप्ताह तक इस प्रकार की कार्रवाई मंदिर के बाहर की जाएगी।
इनका कहना है
कलेक्टर के निर्देश के बाद टीम बाल भिक्षुकों को पकडऩे के लिए पहुंची थी। 8 बच्चों को सेवाधाम की सुपुर्दगी में भेजा गया है। एक सप्ताह तक कार्रवाई सतत चलती रहेगी। – एसए सिद्दिकी, सहायक संचालक महिला बाल विकास