खाचरौद का जैन समाज बना दीक्षा का साक्षी
खाचरौद, अग्निपथ। शहर में बुधवार का दिन जैन समाज के लिए काफी उल्लास व खुशियों भरा दिन था। शहर सहित अन्य स्थानों से आए सैकड़ों समाजजन मुनि अभिनंदनजी व साध्वी जिज्ञासाश्रीजी की भगवती (बड़ी) दीक्षा के साक्षी बने। इस दीक्षा के साथ ही दोनों दीक्षार्थियों के मुनि और साध्वी होने पर गुरुभगवंतों की मौजूदगी में मुहर लग गई।
महावीर भवन स्थानाक में बुधवार को प्रवर्तक प्रकाशमुनिजी, साध्वी रमणिककुंवर जी म.सा (दमु), साध्वी धर्मलताजी, साध्वी रमणिककुंवरजी (रंजन) महासती चंदनबाला जी सहित 19 साधु साध्वियों की उपस्थिति में मुनि अभिनन्दन जी एवं साध्वी जिज्ञासाश्रीजी की जैन भगवती बड़ी दीक्षा चतुर्विद संघ की उपस्थति में संपन्न हुई। प्रात: 8 बजे से ही बड़े उत्साह के साथ खाचरौद संघ के अतिरिक्त रतलाम, नागदा, उन्हेल, सैलाना, बदनावर, इंदौर, उज्जैन आदि सैकड़ों की संख्या में दर्शनार्थी उपस्थित हुए।
गुरुदेव प्रकाशमुनि जी ने सुबह 8:45 बजे से बड़ी दीक्षा विधि प्रारंभ की। गौरतलब है कि मुनि अभिनन्दनजी प्रकाश मुनि जी के शिष्य एवं साध्वी जिज्ञासाजी महासती रमणीक कुंवर जी की शिष्या घोषित की गयी हैं।
भव्य आत्माएं ही त्याग सकती हैं संसार का मोह: प्रकाश मुनिजी
बड़ी दीक्षा सम्पन्न होने पर गुरुदेव प्रकाश मुनिजी ने अपने आशीर्वजन में कहा कि भव्य आत्मा ही संसार का मोह त्याग कर सकती है। आत्म कल्याण के मार्ग पर चलने वाले विरले महापुरुष ही दीक्षा अंगीकार कर साधना के बल पर मोक्ष पा सकते हैं। बड़ी दीक्षा होने पर ही मुनि पंच महाव्रतधारी साधु कहलाता है । मुनि सतत चिंतन करे, न मैं किसी का-न कोई मेरा भाव प्रबल बनता है तो वही साधु बनता है। आप दोनों मुनिजन जिन शासन की महती प्रभावना कर अपनी आत्मा का उत्थान करें। इस अवसर पर दर्शनमुनि जी, साध्वी रमणिककुंवरजी (दमु) एवं नूतन प्रभा जी ने भी धर्म सभा को संबोधित किया।
ये थे मौजूद
दीक्षा के बाद श्रीसंघ अध्यक्ष मनोहरलाल भटेवरा एवं कार्यक्रम संयोजक राकेश चंडालिया ने सभी साधु-साध्वी भगवंत को दीक्षा व नूतन शिष्य रत्नों की बधाई प्रेषित की। सभा का संचालन संघ सचिव महेंद्र चंडालिया ने किया। स्वागत स्तवन अणु बहु मंडल एवं रिया श्रीश्रीमाल ने प्रस्तुत किया। सभी समाजजनों एवं अतिथि सत्कार की व्यवस्था आनंद सौभाग्य अणु प्रकाश दीक्षा समिति द्वारा मांगलिक भवन में की गयी।
आयोजन में चंद्रप्रकाश चोरडिया, अभय बरडिया, संतोष बरखेडावाला, श्रेणिक खेमसरा, अभय बी दलाल, मनोज श्रीश्रीमाल, चंद्रप्रकाश चंडालिया, पारस संचेती, सुशील बुपक्या, सतीश दलाल, नरेन्द्र भटेवरा, निशीथ सिसौदिया, धनसुख बुपक्या, सुभाष चंडालिया, राजेश छाजेड़, मितेश भटेवरा, आनंद बरडिया, सुज्ञान बरखेडावाला एवं बड़ी संख्या में समाजजन उपस्थित थे ।