उज्जैन,अग्निपथ। कलेक्टर आशीष सिंह ने तराना विकास खण्ड में कार्यरत महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ता श्रीमती मंजुलता मसीह एवं श्रीमती सुनीता बागची को विभागीय जांच में निरन्तर शासकीय कार्य में लापरवाही बरतने, कारण बताओ सूचना पत्र जारी करने के बाद भी कार्य में कोई सुधार नहीं करने, स्वास्य्म कार्यक्रमों का रिकार्ड संधारण ठीक से नहीं करने के आरोप सत्य पाये जाने पर मप्र सिविल सेवा वर्गीकरण, नियंत्रण एवं अपील नियम-1966 के नियम-10(7) के अन्तर्गत अनिवार्य सेवा निवृत्ति की दीर्घ शास्ति से दण्डित करने के आदेश जारी कर दिये हैं।
उल्लेखनीय है कि विकास खण्ड चिकित्सा अधिकारी तराना द्वारा उप स्वास्य्त केन्द्र करंज में कार्यरत महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ता श्रीमती सुनीता बागची व उप स्वास्य्त केन्द्र कपेली में संयोजित महिला स्वास्य्क कार्यकर्ता श्रीमती मंजुलता मसीह को अनिवार्य सेवा निवृत्ति देने की अनुशंसा की गई थी। अनुशंसा के आधार पर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्य्व अधिकारी द्वारा दोनों महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं के विरूद्ध विभागीय जांच समिति गठित कर जांच करवाई गई।
जांच समिति द्वारा दिये गये निष्कर्ष के अनुसार कलेक्टर द्वारा दोनों महिला स्वास्य्ड कार्यकर्ताओं को अनिवार्य सेवा निवृत्ति दे दी गई है। उल्लेखनीय है कि महिला स्वास्य्य कार्यकर्ता श्रीमती सुनीता बागची को 57 वर्ष की आयु एवं श्रीमती मंजुलता मसीह को 58 वर्ष की आयु में अनिवार्य सेवा निवृत्ति दी गई है।