एनटीसी के अधिकारी से मिले चाल के रहवासी
उज्जैन, अग्निपथ। हीरामिल की चाल के रहवासियों में नेशनल टेक्सटाइल कार्पोरेशन (एनटीसी) की तरफ से मिले नोटिस से हडक़ंप की स्थिति बन गई है। मंगलवार को चाल के रहवासी रैली बनाकर एनटीसी के इस्टेट ऑफिसर से मुलाकात करने पहुंचे। 10 रहवासियों की ओर से वकील ने जवाब पत्र प्रस्तुत किए है।
हीरामिल को बंद हुए लगभग 21 साल हो चुके है। नेशनल टेक्सटाइल कार्पोरेशन की ईकाई ने मिल बंद होने के बाद मिल की चाल में निवास करने वाले मजदूरों के परिवारों को बेदखल करने की कार्यवाही शुरू की थी। एनटीसी द्वारा मिल की चाल में रहने वाले 100 से ज्यादा परिवारों को पूर्व में नोटिस जारी किए गए थे। दो साल कोरोना संक्रमण की वजह से नोटिस के बाद की सुनवाई की प्रक्रिया स्थगित रही। एनटीसी द्वारा यह प्रक्रिया दोबारा शुरू कर दी गई है।
एनटीसी की तरफ से नियुक्त इस्टेट ऑफिसर के.सी. पंवार द्वारा हाल ही में मिल की चाल में रहने वाले 20 परिवारों के मुखिया को नोटिस जारी किया गया था। इन सभी को 19 जुलाई की दोपहर 1 बजे हिरामिल बंगला स्थित ऑफिस में अपना पक्ष रखने के लिए बुलाया गया था। 20 रहवासियों के साथ पूरी मिल की चाल के रहवासी मंगलवार दोपहर इस्टेट ऑफिसर के.सी. पंवार के पास पहुंचे।
10 रहवासियों की तरफ से एड्वोकेट जितेंद्र सेंगर ने इस्टेट ऑफिसर के समक्ष पक्ष रखा। एड्वोकेट सेंगर ने बताया कि एनटीसी रहवासियों को जमीन से बेदखल करना चाहती है, मिल की चाल में ऐसे कई परिवार है जो 70 से 80 सालों से यहां निवास कर रहे है। रहवासियों की तरफ से इस्टेट ऑफिसर से भी कुछ जानकारियां मांगी गई है।