पहले सील किया फिर गलती का एहसास हुआ तो खोल दिया ताला
उज्जैन, अग्निपथ। तोपखाना इलाके में बुधवार सुबह शफी सेठ की मल्टी के एक फ्लैट को पुलिस ने सील करने की कार्यवाही की। इस फ्लैट में पापुलर फ्रंट ऑफ इंडिया(पीएफआई) का दफ्तर संचालित होने की जानकारी मिली थी। जल्दबाजी में की गई इस कार्यवाही के बाद पुलिस को पता चला कि जिस फ्लैट को सील किया है वहां पीएफआई का दफ्तर होने की केवल आशंका थी, पुख्ता साक्ष्य नहीं थे लिहाजा ताबड़तोड सील खोल भी दी गई। जिस फ्लैट पर यह कार्यवाही की गई थी, वह तीन महीने से बंद पड़ा है।
उज्जैन से राष्ट्रीय जांच एजेंसी एनआईए ने पिछले दिनों दो अलग-अलग दबिशों में कुल 5 लोगों को हिरासत में लिया है। मंगलवार को ही केंद्र सरकार ने पीएफआई पर प्रतिबंध के आदेश जारी किए है। उज्जैन सहित मालवा क्षेत्र से हिरासत में लिए गए लोगों के बारे में सूचना है कि वे पीएफआई से जुडक़र संदिग्ध गतिविधियों का संचालन कर रहे थे। एनआईए की कार्यवाही के बाद बुधवार सुबह उज्जैन पुलिस भी एक्शन में आ गई।
आधी-अधूरी जानकारी के साथ पुलिस की एक टीम तोपखाना इलाके में शफी सेठ रेसीडेंसी पर पहुंच गई। यहां के फ्लैट नंबर 205 पर पहुंचकर उसे सील कर दिया। बिना मजिस्ट्रेट की मौजूदगी में हुई सीलबंदी की कार्यवाही के दौरान पुलिस को पता चला कि यह फ्लैट एक ऐसी महिला का है जिनका कोविड काल में इंतकाल हो चुका है। महिला का भाई फ्लैट की देखरेख करता है। उसने लगभग एक साल पहले वसीम नामक युवक को फ्लैट किराए पर दिया था। तीन महीने पहले ही फ्लैट खाली हो चुका है। फ्लैट से कोई संदिग्ध वस्तु बरामद नहीं हुई।
फ्लैट सील करने की कार्यवाही के बाद पुलिस का अमला मौके से हटा ही था कि वरिष्ठ अधिकारियों के नए दिशा-निर्देश मिल गए। अधिकारी वापस शफी शेड रेसिडेंसी पर पहुंचे और ताले पर लगाई गई सील हटा दी। बुधवार सुबह खाराकुआं थाना क्षेत्र में ही एक युवक की तलाश में उसके घर पर भी दबिश दी गई। यहां उक्त युवक के पिता पुलिस को मिले, उन्होंने बताया कि बेटा कई सालों से घर ही नहीं आया है। इस युवक के भी पीएफआई से जुड़ी गतिविधियों में शामिल होने का संदेह है।
फिलहाल तो उज्जैन पुलिस के हाथ ऐसा कुछ नहीं लगा है जिससे उज्जैन में पीएफआई की संदिग्ध गतिविधियों की पुख्ता जानकारी हांसिल हो सके, एनआईए के पास जरूर कुछ पुख्ता साक्ष्य हो सकते है लेकिन फिलहाल एनआईए ने भी पीएफआई जांच को लेकर कोई जानकारी सार्वजनिक नहीं की है। उज्जैन सहित मालवाचंल से हिरासत में लिए गए युवकों के नाम जरूर सार्वजनिक किए गए है।
इनका कहना
पीएफआई से जुड़े कुछ ठिकानों को हमारे द्वारा चिन्हित किया गया है। इन ठिकानों को सील करने की कार्यवाही की जाएगी। सुबह जिस फ्लैट को सील किया गया था, वहां हमें पीएफआई का दफ्तर होने की सूचना मिली थी, हालांकि वह फ्लैट 3 महीने पहले ही खाली हो चुका है। अब वहां किसी तरह का दफ्तर नहीं है। – सत्येंद्र कुमार शुक्ला, एसपी