टनल निर्माण के कारण एक माह तक आम दर्शनार्थी अब नए वेटिंग हाल से होकर निर्गम द्वार से नीचे पहुंचेगे
उज्जैन, अग्निपथ। महाकालेश्वर मंदिर सावन के पहले एक नए स्वरूप में नजर आयेगा। मंदिर में चल रहे कामकाज में तेजी लाने के लिए दर्शन व्यवस्था बुधवार या गुरुवार से बदल सकती है। नई व्यवस्था के तहत दर्शनार्थी न्यू वेटिंग हाल के जरिए महाकाल परिसर में पहुंचेगा और वहां निर्गम द्वार से नंदी हाल तक पहुंचेगा। यह व्यवस्था मंदिर में बनाई जा रही नई टनल के पूरा होने तक रहेगी। टनल का काम पूरा करने के लिए निर्माण कर्ता एजेंसी को एक महीने का समय दिया गया है।
श्री महाकालेश्वर मंदिर परिसर में नई व्यवस्था के तहत दर्शनार्थियों को मानसरोवर से प्रवेश देकर फैसेलिटी वन से नवनिर्मित वैटिंग हॉल के नीचे से महाकालेश्वर परिसर में लाकर निर्गम रैंप से प्रवेश कर नंदी हाल तक लाकर बेरिकेट्स से दर्शन के बाद सीढिय़ों से मंदिर के पीछे स्थित निर्गम गेट की ओर निकालने की योजना है।
ढाई करोड़ की लागत से बन रही टनल
मंदिर परिसर में इन दिनों एक अंडरग्राउंड कॉरिडोर का निर्माण शुरू किया जा रहा है। यह अंडरग्राउंड कॉरिडोर कार्तिकेय मंडपम तक पहुंचेगा। यहां आकर मिलने के बाद मंदिर परिसर में दर्शनार्थियों के लिए सहजता से दर्शन करने की व्यवस्था हो जाएगी। अधिकारियों के अनुसार यूडीए के माध्यम से करीब ढाई करोड़ की लागत से निर्मित होने वाली अंडरग्राउंड कॉरिडोर की लंबाई करीब 45 मीटर अंडरग्राउंड होकर करीब 20 फीट चौड़ी होगी। जमीन से ऊपर करीब 40 मीटर लंबाई रहेगी। मई माह अंत तक छत डालने का टारगेट रखा गया है। अंडरग्राउंड कॉरिडोर के निर्माण के बाद मंदिर में आने वाले लाखों श्रद्धालु एक साथ करीब 8-8 की कतार में दर्शन कर सकेंगे।
बारिश के कारण चुनौतीपूर्ण है समय पर टनल निर्माण
श्री महाकालेश्वर मंदिर समिति द्वारा टनल निर्माण की योजना सराहनीय है, लेकिन इसे मई महीने में पूरा करना भी चुनौतीपूर्ण काम है। क्योंकि इस बार बारिश ने पहले ही आमद दे दी है। बार-बार मौसम बदलने का असर निर्माण कार्य पर होना स्वाभाविक है। अगर मई महीने में काम अधूरा रह जाता है तो फिर जून से तो बारिश का मौसम ही प्रारंभ हो जायेगा। इस बार अधिकमास के कारण सावन माह भी दो हैं, जो 3 जुलाई से प्रारंभ हो जायेंगे। ऐसे में मई और जून महीने मेें सारे काम सुचारू करना प्रशासन और मंदिर समिति के लिए चुनौतीपूर्ण है। हालांकि निर्माण कर्ता एजेंसी ने दिनरात काम करने की तैयारी कर रखी है। अगर मौसम ने साथ दिया तो सावन के पहले ही महाकालेश्वर मंदिर परिसर एक नए स्वरूप में श्रद्धालुओं के स्वागत मेें तैयार होगा।
सावन के पहले यह बदल जायेगा मंदिर में
- दर्शन के लिए न्यू वेटिंग रूम भव्य रूप में मार्बल लगकर तैयार हो जायेंगे।
- महाकाल मंदिर के सामने रोड चौड़ी हो जायेगी।
- बड़ा गणेश क्षेत्र विकसित हो जायेगा।
- नया प्रवचन हाल, शिखर दर्शन पाइंट तैयार हो जायेंगे।
- मंदिर के अंदर दर्शन के लिए टनल तैयार हो जायेगी, जिसमें से तेजी से दर्शन होंगे।
- नंदी हाल भी नए स्वरूप में नजर आयेगा।