नई दिल्ली। शनिवार को देशभर में कोरोना टीकाकरण अभियान की शुरुआत हुई और पहले चरण में स्वास्थ्यकर्मियों के साथ ही फ्रंट लाइन वर्कर्स को टीका दिया गया। कोरोना के टीके को लेकर कई सवाल उठाए जा रहे थे कि यह सुरक्षित है या नहीं और इसके साइड इफेक्ट्स क्या होंगे। 24 घंटे बीत जाने के बाद अब तक टीका लेने वाले 52 लोगों में एलर्जी देखी गई है, इनमें से एक के अंदर गंभीर लक्षण दिखे।
एम्स के एक गार्ड को स्वदेशी टीका ‘कोवैक्सीन’ का शॉट दिया गया था। हालांकि, उन्हें कुछ ही देर में एलर्जी हुई और अस्पताल में भर्ती किया गया। एम्स के एक अधिकारी के मुताबिक, फिलहाल गार्ड को डॉक्टरों की देखरेख में रखा गया है। यहां ध्यान देने वाली बात यह है कि एम्स में कुल 95 स्वास्थ्यकर्मियों को शनिवार कोरोना का टीका लगाया गया था।
दिल्ली सरकार के मुताबिक, यहां 52 लोग ऐसे थे जिनमें टीका लेने के बाद एलर्जिक रिएक्शन देखा गया, जिनमें से सिर्फ एक के अंदर गंभीर लक्षण दिखे। दिल्ली में कम से कम 4 हजार 319 हेल्थ वर्कर्स को कोविड-19 का टीका दिया गया, जबकि पहले दिन 8 हजार 117 को टीका दिए जाने का लक्ष्य था। दिल्ली सरकार ने 81 केंद्रों पर टीकाकरण किया।
नई दिल्ली नगर निगम के अधिकारी के मुताबिक, एनडीएमसी के चरक पालिका अस्पताल में दो स्वास्थ्यकर्मियों में कोविड-19 वैक्सीन लेने के बाद हलका एलर्जी हुई। इन्हें सीने में हलका खिंचाव महसूस हुआ था। हालांकि, इन्हें आधे घंटे तक ऑब्जरवेशन में रखने के बाद छुट्टी दे दी गई।
दुनिया के सबसे बड़े टीकाकरण अभियान के के तहत भारत में शनिवार को 1 लाख 91 हजार 181 हेल्थकेयर लाभार्थियों को कोविड-19 का टीका दिया गया था। पहले चरण में देशभर के करीब 3 करोड़ लोगों को टीका दिए जाने का लक्ष्य रखा गया है।
यह भी पढ़ेंः टीकाकरण का नहीं कोवैक्सीन का हुआ ट्रायल