हरसिद्धि घाटी चौराहे पर व्यापारियों ने दर्शनार्थियों को बुरी तरह पीटा

व्यस्त रहने वाले इस स्थान पर पुलिस कर्मी कहीं नजर नहीं आये, दया की भीख मांगते रहे महिला-पुरुष

उज्जैन, अग्निपथ। हरिसिद्धी घाटी चौराहे पर गुरुवार रात को फुटपाथ पर दुकान लगाये बैठे आवारा किस्म के युवाओं ने बाहर से आये दर्शनार्थियों को बुरी तरह पीटा। दर्शनार्थी दया की भीख मांगते रहे लेकिन आवारा किस्म के ये युवा क्षेत्र में अपनी धाक होने का हवाला देकर दर्शनार्थी महिला-पुरुषों को बुरी तरह पीटते रहे। इस दौरान यहां एक भी पुलिस कर्मी नजर नहीं आया जबकि यहां पर पुलिस का सुरक्षा पाइंट भी लगा हुआ है।

घटना गुरुवार रात करीब 10 बजे की है। बाहर से आये दर्शनार्थी जिसमें तीन पुरुष और चार महिलाएं-बच्चे शामिल थे। यह सभी एक परिवार के सदस्य थे। इन्होंने हरसिद्धि घाटी चौराहे पर पार्किंग की दीवार से सटकर फुटपाथ पर लगे भोजनालय मेें खाना किया। इसी दौरान खाना ठीक नहीं होने पर विवाद हो गया।

मामूली कहासुनी के बाद यहां फुटपाथ पर दुकान लगाये बैठे आवारा किस्म के युवाओं की टोली इन पर टूट पड़ी। पहले पुरुषों को पीटा। महिलाओं ने जैसे-तैसे पुरुषों को बचाकर आगे भेज दिया तो कुछ देर बाद सभी युवा लाठियां लेकर आ गये। सभी दर्शनार्थी वहां से भागे तो हरसिद्धि मंदिर के पहले युवाओं ने उन्हें घेर लिया और बुरी तरह पीटा।

बाहर से आये दर्शनार्थी परिवार के महिलाएं व पुरुष इनसे बचने की गुहार लगाते रहे, लेकिन ये नहीं माने। बाद में मौके पर मौजूद अन्य व्यापारियों ने इन्हें बचाया। हमलावर युवा हाथ में लाठियां लहराते हुए अन्य लोगों को धमकाते भी रहे।

मुख्य स्थान है, लेकिन पुलिस जवान नदारद

हरसिद्धि घाटी चौराहा जहां पार्किंग बनी हुई और यहां से ही बड़ा गणेश मंदिर होते हुए महाकाल मंदिर जाने का प्रमुख रास्ता है। इसी चौराहे से रामानुज कोट, रामघाट, हरसिद्धि मंदिर आदि जाने का रास्ता है। यहां पर पुलिस ने बेरिकेड्स लगाकर चैकिंग पाइंट भी लगा रखा है। लेकिन लापरवाही देखिये कि इस मुख्य स्थान पर भी पुलिस जवान नहीं है। सुरक्षा की दृष्टि से यहां 24 घंटे जवानों की ड्यूटी होना चाहिए। इसी का फायदा उठाकर आसामाजिक तत्व यहां सक्रिय रहते हैं और फूल-प्रसाद, धार्मिक सामग्री आदि की छोटी-छोटी दुकानें सडक़ पर लगाकर दर्शनार्थियों से अभद्रता करते हैं।

सडक़ से अतिक्रमण हटना जरूरी

चौबीस खंभा माता मंदिर से हरसिद्धि घाटी चौराहा और हरसिद्धि मंदिर तक सडक़ पर अतिक्रमण की भरमार है। नगर निगम यहां पर आये दिन कार्रवाई की ढिंढोरी तो पीटता है, लेकिन कभी सडक़ अतिक्रमण मुक्त नहीं हुई। लोगों ने यहां फुटपाथ तो दूर सडक़ तक कब्जा जमा रखा है और वो भी पूरे अधिकार के साथ। वरिष्ठ अधिकारी अगर इस मार्ग का दौरा करें तो स्थिति पूरी साफ हो जायेगी। खासकर रात मेें तो यहां से गुजरना भी मुश्किल होता है। अधिकतर दुकानदार क्षेत्र के असामाजिक तत्व हैं जो दर्शनार्थियों से भी दुव्र्यवहार और मारपीट करते हैं।

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