कांग्रेस का दावा- मध्यप्रदेश के हर ब्लॉक में चल रहा सट्टा
भोपाल, अग्निपथ। एमपी कांग्रेस मीडिया विभाग के अध्यक्ष मुकेश नायक ने दावा किया है कि मप्र के हर जिला और ब्लॉक में सट्टे की बुकिंग हो रही है। नायक ने उज्जैन में पुलिस द्वारा सटोरियों से 15 करोड़ रुपए जब्त होने और फॉरेन करेंसी मिलने के मामले पर कहा- कि इस सट्टा कांड का मास्टर माइंड पीयूष चोपड़ा विदेश भागने की फिराक में हैं। चोपड़ा के किन बीजेपी नेताओं से संबंध हैं इसकी जांच होनी चाहिए।
पीसीसी में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर मुकेश नायक ने कहा- वर्तमान में 20-20 वल्र्ड कप चल रहे हैं। हर जिले हर ब्लॉक में सट्टे की बुकिंग हो रही है। यूपीआई के द्वारा ऑनलाइन ट्रांजेक्शन हो रहे हैं। इसका मुख्य केन्द्र दुबई और लंदन है क्योंकि, लंदन में सट्टा वैलिड है। इस कारण खुलेआम इसके वहां दफ्तर खुले हुए हैं। भारत और अन्य देशों से क्रिकेट के सट्टे की बुकिंग दुबई और लंदन में जाती है। हम ये जानना चाहते हैं कि क्रिकेट का जो हजारों करोड़ का ऑनलाइन सट्टा हो रहा है इसके ऑनलाइन पेमेंट की पुलिस के पास क्या जानकारी है इसे पब्लिक डोमेन में लाया जाना चाहिए।
पूर्व मंत्री मुकेश नायक ने कहा- आज मप्र पुलिस ने दो जगहों पर छापे मारे और सटोरियों से 15 करोड़ की राशि बरामद की। पुलिस को नोट गिनने के लिए मशीन बुलानी पड़ी। और नोट गिनने में मशीनों को परेशानी तब आई जब नोट गिनने में 9 देशों की करेंसी भी इसमें शामिल थी। 15 करोड़ के अलावा 9 देशों के कितने नोट हैं ये पुलिस ने अब तक बताया नहीं हैं। इस मामले में 9 आरोपी गिरफ्तार हुए हैं। इस मामले का मुख्य आरोपी पीयूष चोपड़ा को अब तक गिरफ्तार नहीं किया है। पुलिस और लोगों ने ये आशंका जाहिर की है कि ये चोपड़ा विदेश भागने की तैयारी में हैं। इसलिए हम सरकार से मांग करते हैं कि लुक आउट नोटिफिकेशन जारी कर इसके पासपोर्ट को जब्त करे। इसको गिरफ्तार कर ये पता लगाया जाए कि कहां – कहां से इन सटोरियों के तार जुड़े हैं इसकी जानकारी दें।
सबकी मिली भगत से चल रहा सट्टा
मुकेश नायक ने कहा- इंदौर से यह ट्रांजेक्शन लंदन और दुबई में होते हैं तो इंदौर पुलिस के संज्ञान में यह क्यों नहीं हैं इसके पीछे यह आशंका जाहिर होती है कि ये सब मिले हुए हैं। अगर ये मिले ना होते तो हजारों करोड़ का सट्टा और हमारे देश का पैसा बाहर ना जाता। मालवा में क्रिकेट का सट्टा उज्जैन, खंडवा, मंदसौर, इंदौर में चलता है। इसके अलावा जबलपुर, सागर, ग्वालियर यहां से बहुत बड़े पैमाने पर सट्टा और क्रिकेट का सट्टा दोनों होता है।
मटका सट्टा के नाम से चल रहीं वेबसाइट
नायक ने कहा- अगर मोबाइल फोन पर देखें कि मटका सट्टा के नाम से कितनी वेबसाइट खुले आम चल रही हैं और इन वेबसाइट पर चार-चार बार ओपन और क्लोज के नंबर आते हैं। अनेक नाम से यह चल रहे हैं मटका सट्टा आप टाइप करें तो सट्टा खिलाने वाली ऑनलाइन वेबसाइट सामने आ जाएंगी। आज तक इन पर क्या कार्रवाई हुई? यह क्यों नहीं बताया जा रहा है। कौन लोग हैं जो इसको संरक्षण दे रहे हैं।
उज्जैन सट्टा कांड के सरगना के बीजेपी नेताओं से संबंधों की जांच हो।
ये उठाए सवाल
मुकेश नायक ने कहा- उज्जैन में जो सट्टा पकड़ा गया है उसमें पीयूष चोपड़ा बिल्डर है पुलिस को इसकी जानकारी भी है। इसके भारतीय जनता पार्टी के नेताओं के साथ संबंध हैं। यह जानकारी पब्लिक को जानना पब्लिक का अधिकार है कौन से भाजपा के नेता इस बिल्डर के पार्टनर हैं। और इस सटोरिए से जिनके गहरे संबंध हैं। जिसके कारण यह वर्षों तक खुलेआम सट्टा खिलाया जाता रहा। ये भी सोचने वाली बात है कि अधिसूचना जारी है और एक स्थान पर 15-15 करोड़ रुपए 11 बोरों में रखे हैं। तो यातायात द्वारा पुलिस नगद और ऑनलाइन का ट्रांजैक्शन क्यों नहीं रोका गया।
किसका संरक्षण इसको प्राप्त है इसकी जानकारी इनको देनी चाहिए। इसका काम कब से चल रहा है कितने साल हो गए हैं कहां-कहां से इस इसके पास बुकिंग आती है कितने शहरों से इसका संपर्क है यह टोटल कलेक्शन दुबई और लंदन कहां जाता है जिसके माध्यम से लोगों का भुगतान होता है।