गंगा दशमी पर्व पर संतों ने निकाली पेशवाई, उज्जैन में दिखा सिंहस्थ की तरह नजारा

उज्जैन, अग्निपथ। मुख्यमंत्री डॉ.मोहन यादव ने रविवार को गंगा दशमी पर्व पर नीलगंगा में स्थित पंच दशनाम जूना अखाड़ा घाट पर नील गंगा सरोवर में स्नान के पश्चात मुख्यमंत्री ने मां गंगा का पूजन-अर्चन किया, नीलगंगा सरोवर का पंचामृत अभिषेक किया तथा श्री पंच दशनाम जूना अखाड़ा के निशान देवता का पूजन किया और प्रदेशवासियों को गंगा दशमी पर्व की शुभकामनाएं दी। मुख्यमंत्री ने मां नीलगंगा सरोवर में विराजमान मां गंगा की प्रतिमा के समक्ष पूजन किया।

मुख्यमंत्री ने नीलगंगा सरोवर का पंचामृत पूजन-अर्चन किया

गंगा दशमी पर्व पर नीलगंगा स्थित प्राचीन हनुमान मंदिर से जूना अखाड़ा परिसर तक साधु-संतों की पेशवाई निकाली गई। पेशवाई में घोड़े, बैंड-बाजे और निशान के साथ शस्त्र कला का प्रदर्शन करते हुए साधु संत चले। इसके बाद सभी संतो ने और स्थानीय श्रद्धालुओं ने नीलगंगा सरोवर में स्नान किया।

अखाड़े के राष्ट्रीय सचिव महन्त श्री रामेश्वर गिरि महाराज ने बताया कि गंगा दशहरा पर्व वर्षों से जूना अखाड़ा द्वारा मनाया जाता रहा है। पुराण में उल्लेख है कि उज्जयिनी में स्थित प्राचीन हनुमान मन्दिर के समीप स्थित सरोवर में मां गंगा का उद्गम हुआ था। तब से यह स्थान नीलगंगा सरोवर के नाम से जाना जाता है।

इस अवसर पर अखाड़े के सहदेवानंद गिरि महाराज, महन्त रामेश्वरदास, भगवानदास महाराज, महन्त देव गिरि महाराज, स्वामी नारायण सम्प्रदाय के प्रमुख आनन्द जीवनदास महाराज, राधे राधे बाबा, श्याम गिरि महाराज, सुरेशानन्द पुरी महाराज, विशालदास महाराज, आनन्द पुरी महाराज, विद्या भारती महाराज, शनि भारती महाराज सहित बड़ी संख्या में सन्त-महन्त मौजूद थे।

अखाड़े के स्थानीय प्रबंधक गोविन्द सोलंकी और राहुल कटारिया ने मुख्यमंत्री का अखाड़े की ओर से सम्मान किया तथा सन्तों द्वारा मुख्यमंत्री का सारस्वत सम्मान कर उन्हें भगवान महाकालेश्वर का रजत शिवलिंग भेंट किया गया।

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