उज्जैन में महाकाल दर्शन के बाद बोले- सनातनियों को जगाने निकालेंगे यात्रा
उज्जैन, अग्निपथ। बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने रविवार को उज्जैन में कहा कि वक्फ बोर्ड के ऊपर कानूनी तौर पर शिकंजा कसना जरूरी है। हम किसी मजहब के खिलाफ नहीं हैं, लेकिन लैंड जिहाद के खिलाफ हैं। उन्होंने कहा कि भारत के सनातनियों को जगाने के लिए नौ दिवसीय यात्रा निकालेंगे।
रविवार को नगरीय प्रशासन मंत्री कैलाश विजयवर्गीय के साथ इंदौर से उज्जैन पहुंचे पं. धीरेंद्र शास्त्री ने मीडिया से चर्चा में कहा कि भगवान महाकाल का आशीर्वाद लेने आया हूं। भारत के सनातनियों को जगाने के लिए भेदभाव, छूआछूत और जात-पात को मिटाना है। भारत को भव्य बनाना है। इस ध्येय को लेकर 21 से 29 नवंबर तक नौ दिवसीय यात्रा निकाल रहे हैं।
पं. धीरेंद्र शास्त्री ने मीडिया से चर्चा के दौरान कहा कि जिनके पास हम पहुंच नहीं पाते, ऐसे पिछड़े और बिछड़े लोगों के पास जाकर उन्हें गले लगाकर भारत को भव्य बनाने का संकल्प दिलवाएंगे। पं. धीरेंद्र शास्त्री रविवार को मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के पिता के निधन होने पर उनके निवास पर शोक संवेदना व्यक्त करने आए थे। धीरेंद्र शास्त्री के उज्जैन आने की सूचना के बाद बड़ी संख्या में भक्त पहुंच गए थे।
सनातियों को एकजुट करने के लिए चार यात्राएं निकालेंगे, पहली 21 नवंबर से
धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा वे सनातियों को एकजुट करने के लिए पदयात्रा निकालेंगे। वे दस दिवसीय यात्रा 21 से 30 नवंबर तक निकालेंगे। यह यात्रा बागेश्वर धाम से ओरछा स्थित राम राजा सरकार के मंदिर तक जाएगी। धीरेंद्र शास्त्री ने बताया 21 नवंबर को बागेश्वर धाम तीर्थ से अपनी यात्रा शुरू करेंगे और प्रतिदिन 20 किलोमीटर चलेंगे। वह 30 नवंबर को 160 किमी की यात्रा कर ओरछा पहुंचकर अपनी यात्रा का समापन करेंगे।
पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने पदयात्रा में शामिल होने वाले अनुयायियों से यह अपील की है कि वे पहले रजिस्ट्रेशन करवा लें, जिससे भोजन प्रसादी और अन्य व्यवस्थाओं को लेकर अभी से इंतजाम किया जा सके। यात्रा में दस हजार से अधिक अनुयायी और श्रद्धालुओं के शामिल होने की संभावना है।
पं. धीरेंद्र शास्त्री ने ये भी कहा कि जो अनुयायी 8 दिनों तक यात्रा में साथ चलेंगे, वे अपने साथ कंबल, बिस्तर और थाली लेकर जरूर आएं। जो अनुयायी रजिस्ट्रेशन कराएंगे, इसी रजिस्ट्रेशन के आधार पर उनकी व्यवस्था की जाएगी। यात्रा में सबसे आगे बागेश्वर धाम से केसरिया ध्वज निकलेगा, जो समापन अवसर पर ओरछा स्थित रामराजा सरकार मंदिर में विधि-विधान के साथ चढ़ाया जाएगा।
हिंदुओं को बंटने से रोकना है मुख्य उद्देश्य
पं. धीरेंद्र शास्त्री ने कहा कि वर्तमान में हिंदू समाज बंट रहा है और बंटने के कारण मिट रहा है। उन्हें एकजुट करने के लिए यह यात्रा निकाल रहे हैं। बागेश्वर धाम से ओरछा सहित कुल चार पदयात्राएं निकालेंगे। इनमें दिल्ली से वृंदावन, लखनऊ से अयोध्या, वेल्लोर से तिरुपति बालाजी भी शामिल है। हालांकि इनकी तारीख अभी तय नहीं है।