नई दिल्ली। कृषि कानूनों के खिलाफ 102 दिन से आंदोलन कर रहे किसानों ने कई बार पुलिस की सख्ती और स्थानीय लोगों का विरोध झेला है, लेकिन कुंडली बॉर्डर धरनास्थल पर रविवार देर रात जो हुआ उससे किसान खासे दहशत में हैं। दरअसल कुंडली बॉर्डर धरनास्थल पर देर रात किसानों पर फायरिंग की गई। हालांकि फायरिंग में किसी के हताहत होने की कोई खबर नहीं है।
जानकारी के अनुसार किसानों पर तीन राउंड फायरिंग की गई। प्रदर्शनकारी किसानों पर चंडीगढ़ नंबर की गाड़ी में पहुंचे कुछ युवकों ने फायरिंग करते हुए कहा कि वह पंजाब के रहने वाले हैं।
इस घटना पर आंदोलनरत अन्नदाताओं का कहना है कि ऐसा करके पंजाब और हरियाणा का भाईचारा बिगाड़ने की साजिश रची गई है। किसानों का कहना है कि पंजाब से कुछ युवक कल रात कुंडली बॉर्डर आए थे। जब ये लोग वहां पहुंचे तो लंगर चल रहा था।
आरोपी युवकों ने लंगर खाया और फिर पानी को लेकर इनका अन्य लोगों से झगड़ा हो गया। गुस्से में इन लोगों ने वहां मौजूद लोगों पर गोली चला दी। हालांकि गनीमत रही कि यह गोली किसी को नहीं लगी। इसके बाद से ये युवक फरार हैं।
वहीं कुंडली एसएचओ रवि ने मौके पर पहुंचकर जांच की और सीसीटीवी फुटेज के आधार पर गाड़ी का नंबर देखकर आरोपियों का पता लगाने में पुलिस जुटी हुई है। जिससे आरोपियों को जल्द पकड़कर घटना के बारे में पता किया जा सके।
आज महिलाओं के हाथों में रहेगी धरने की कमान
कुंडली बॉर्डर पर चल रहे धरने के दौरान सोमवार को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर महिला किसान दिवस मनाया जाएगा। धरने की कमान महिलाओं के हाथों में रहेगी। मंच पर सिर्फ महिलाएं रहेंगी और संचालन करने के साथ संबोधन भी करेंगी। इसके लिए हरियाणा व पंजाब से ज्यादा से ज्यादा महिलाओं को कुंडली बॉर्डर पर पहुंचने का आह्वान किया गया है।
इधर, किसान आंदोलन की वजह से 27 जनवरी से लगातार बंद चल रहे हरियाणा-दिल्ली के झाड़ोदा बॉर्डर को दिल्ली पुलिस ने रविवार को खोल दिया। इससे राहगीरों को बहुत राहत मिली है। इधर, टीकरी बॉर्डर पर हरियाणा के एक किसान ने फांसी लगाकर खुदकुशी कर ली, जबकि पंजाब के एक बुजुर्ग किसान की हार्ट अटैक से मौत हो गई।