धार, अग्निपथ। मप्र माध्यमिक शिक्षा मंडल की बोर्ड परीक्षाएं मंगलवार 25 फरवरी से शुरू हो रही है। इस दिन 12वीं के परीक्षार्थियों का हिंदी का प्रश्न पत्र रहेगा। वहीं 10वीं की परीक्षा 27 फरवरी से शुरू होगी। परीक्षा में नकल रोकने आदि को लेकर सख्ती ज्यादा है। मोबाइल एप के माध्यम से भी जिम्मेदार अधिकारी परीक्षा की मानिटरिंग करेंगे।
बीते वर्षों की अपेक्षा इस बार नकल पर नकेल कसने के लिए विभाग द्वारा काफी अपडेट किए गए है। दरअसल, नए निर्देश के अनुसार कलेक्टर की निगरानी में इस बार परीक्षा होगी। इसके लिए कलेक्टर को हर केंद्र के लिए अपने प्रतिनिधि नियुक्त करने होंगे। केंद्र पर प्रश्नपत्र उठाव से लेकर वितरण तक की व्यवस्था को देखेंगे और कम से कम एक घंटा तक परीक्षा केंद्र पर ही मौजूद रहेंगे।
इस बीच यदि कोई गड़बड़ी होती है तो उन्हें ही पहला जिम्मेदार माना जाएगा। वही माध्यमिक शिक्षा मंडल द्वारा जिले के सभी परीक्षा केंद्रों की बच्चो की सुविधाओं के लिए जहां फर्नीचर, इंटरनेट, सीसीटीवी कैमरें, पेयजल और टॉयलेट जैसी मूलभूत सुविधाएं पूरी कर ली गई है।
तीन घंटे के पहले केंद्र से बाहर नही जा सकते बच्चे
आमतौर पर जब माध्यमिक शिक्षा मंडल बोर्ड की परीक्षा होती है तो पेपर पूरा होने के दौरान 2 घंटे बाद विद्यार्थी को केंद्र से बाहर आने की मंजूरी रहती है। पेपर पूरा होने के बाद विद्यार्थी चाहे तो अपने घर जा सकता है, लेकिन नकल रोकने के लिए इस बार माध्यमिक शिक्षा मंडल – बोर्ड लगातार सख्त कदम उठाता जा रहा है। इस बार की परीक्षा में पेपर पूरा होने के बाद भी जब तक तीन घंटे पूरे नहीं होंगे बच्चों को केंद्र से बाहर आने की मंजूरी नहीं रहेगी। प्रश्न-पत्र लेकर बच्चे तीन घंटे बाद ही जा सकेंगे।
पुलिस को हो तुरंत शिकायत
जिला शिक्षा विभाग ने अपील की है इंटरनेट मीडिया पर पेपर लीक की भ्रामक सूचना देता है तो पुलिस में शिकायत करें। बोर्ड परीक्षा के प्रश्न-पत्र ए, बी, सी, डी सेट में तैयार किए गए है। पेपर में पूछे गए प्रश्न एक जैसे होंगे मगर क्रम अलग रहेगा। परीक्षा कक्ष में छात्र बैठक व्यवस्था 20-40-60 के रूप में होगी। पहली पंक्ति में बैठे छात्र को तय सेट का पहला पेपर, इसके बाद बी, सी, डी, दूसरी पंक्ति के पहले छात्र को तय सेट का पहला पेपर दिया जाएगा। तीसरी व चौथी रो में तय सेट के पेपर से शुरुआत होगी।
मोबाइल परीक्षा हॉल में प्रतिबंधित
परीक्षा हाल में गैजेट्स लेकर कोई भी छात्र नहीं जाएगा। इसके लिए पहले ही जांच की जाएगी और पूरी जांच पड़ताल के बाद ही छात्र को परीक्षा हाल में प्रवेश दिया जाएगा। केंद्र पर कलेक्टर प्रतिनिधि की देखरेख में ही प्रश्न पत्र का बाक्स खोला जाएगा। प्रश्न पत्र खोलने से पहले केंद्राध्यक्ष, सहायक केंद्राध्यक्ष, पर्यवेक्षक व अन्य स्टाफ के मोबाइल स्विच आफ कराए जाएंगे तथा इन मोबाइल को अलमारी में बंद कर सील कर देंगे, जो परीक्षा समाप्ति के बाद ही मिलेंगे।
एप से करेंगे काम, उपस्थिति भी होगी दर्ज
इस बार परीक्षा का काम पूरी तरह डिजिटल होगा गया है प्रतिनिधि को बोर्ड द्वारा भेजी गई एक लिंक से कनेक्ट किया जाएगा। इस लिंक इंस्टॉल एप्प के माध्यम से ही पूरा काम होगा। एप्प से ही प्रतिनिधि की उपस्थिति दर्ज होगी। थाने से प्रश्नपत्र उठाव, परीक्षा केंद्र पर पहुंचने और वितरण की टाइमिंग भी एप्प से ही अपलोड होगी।
इसके अलावा एक घंटे परीक्षा केंद्र पर रहने के बाद चेकआउट भी एप्प से ही होगा। जो लोकेशन के आधार पर काम करेगा। वीसी के माध्यम से इस संबंध में प्रशासनिक और जिला शिक्षा अधिकारियों को जानकारी दी जा चुकी हैं। एप्प का लिंक जल्द उपलब्ध होगा। चयनित प्रतिनिधियों के साथ बैठक कर मास्टर्स द्वारा उन्हें एप्प के संबंध में जानकारियां समझा दी जाएंगी।
साथ ही उन्हें आने वाली समस्याओं का भी मौके पर ही निराकरण किया जाएगा। इससे संबंधित एक हेल्पलाइन टीम भी बनाई जाएगी। जो तत्काल समस्या का समाधान करेगी।
फैक्ट फाइल
- 103 परीक्षा केंद्र पूरे जिले में।
- 14 परीक्षा केंद्र संवेदनशील।
- 10वीं में 24 हजार 957 रेगुलर व 2 हजार 83 प्राइवेट है
- 12वी में 16 हजार 528 रेगुलर तो 3 हजार 575 प्राइवेट है
तैयारी पूरी कर ली गई है
परीक्षा को लेकर तैयारियां पूरी कर की गई है। वही परीक्षा को लेकर की प्रकार की असुविधा बच्चो को नही होगी। वही जिलेभर में परीक्षा के लिए 103 केंद्रों में बच्चो की बैठने की व्यवस्था की है लगभग 47 हजार परीक्षार्थी परीक्षा में भाग लेंगे। जांच दल भी बना दिए है। -मनीषा गौतम सहायक आयुक्त जनजाति विभाग धार
किसी भ्रम में नहीं आए बच्चे
चार सेट में प्रश्न पत्र आएंगे जो कलेक्टर प्रतिनिधि के समक्ष ही बाक्स खोला जाएगा। यह सेट परीक्षा हाल में नियमानुसार ही वितरित होंगे। जिससे कोई नकल ना कर सके। परीक्षा अवधि पूरी होने पर ही प्रश्न पत्र परीक्षा हाल से बाहर ले जाने दिया जाएगा। छात्र किसी भी भ्रामक सूचनाओं पर भरोसा ना करें।
लक्ष्मण देवड़ा, जिला शिक्षा अधिकारी धार