निर्मल अखाड़े की जमीन की पावर ऑफ अटार्नी में हेरफेर

गादीपति ने मैनेजर के खिलाफ महाकाल थाने में की गई धोखाधड़ी की शिकायत

उज्जैन, अग्निपथ। बडऩगर रोड स्थित निर्मल अखाड़े की जमीन पर खेती या एक वर्ष के लिए लीज पर देने की पावर ऑफ अटार्नी में हेरफेर कर गादीपति ने बाहरी लोगों को जमीन वर्षों के लिए डीड कर लाखों रुपए की धोखाधड़ी कर दी। महंत द्वारा महाकाल थाने में मैनेजर के खिलाफ शिकायती आवेदन दिया गया जिसकी जांच के बाद पुलिस ने मामले में धोखाधड़ी का केस दर्ज किया है।

पुलिस ने बताया कि महंत जसविंदर सिंह कोठारी, महंत गुरविंदर सिंह पंचायती अखाड़ा निर्मल बड़ऩगर रोड के द्वारा दिए गए आवेदन की जांच में महंत जसविंदर सिंह चेला संत हरवंश सिंह निवासी पंचायती निर्मल अखाड़ा और गुरवेन्द्र सिंह चेला महंत महगाराम के कथन लिए गए जिन्होंने बताया कि पंचायती अखाड़ा निर्मल के मुख्य अध्यक्ष महंत स्वामी ज्ञानदेवसिंह हैं। जिन्होंने बेअंतसिंह को पंचायती अखाड़ा निर्मल उज्जैन की व्यवस्था चलाने, देखरेख के लिए 23 सितम्बर 2019 को नियुक्त किया था।

बेअंत सिंह ने महंत ज्ञानदेवसिंह को बताया कि मेरा मुख्त्यारनामा गुम हो गया है तब दिनांक 15 जुलाई 22 को नया पावर ऑफ अटार्नी बनाया जाकर बेअंत सिंह को अखाड़ा अध्यक्ष ने दिया था। इसमें लिखा था कि अखाड़े की खेती वाली जमीन पर खुद काश्त करे यदि किसी को ठेके व बंटाई पर देवे तो 1 वर्ष के लिए देवे उससे अधिक नहीं दे सकेगा। संपत्ति को विक्रय व गहने आदि नहीं कर सकेगा।

फर्जी डीड कर व्यवसाय के लिए बाहरी लोगों को दी जमीन

पुलिस ने बताया कि फर्जी पावर ऑफ अटार्नी पत्र तैयार कर अखाड़े की 8 हजार स्क्वायर फीट जमीन 17 वर्ष के लिए पंकज पिता जगदीश यादव निवासी अंकपात मार्ग निकास चौराहा को सुपुर्द कर राशि वसूल कर हड़प कर ली तथा बेअंत सिंह ने फर्जी पावर ऑफ अटार्नी के आधार पर ही प्रतीक पिता कोहिनूर बंसल निवासी दानीगेट को अखाड़े की आवासीय बिल्डिंग की सामने वाली जमीन 12 वर्ष के लिए लीज डीड कर उसे सुपुर्द कर दी तथा योगेश बंसल पिता नारायणलाल बंसल निवासी चंद्रशेखर आजाद मार्ग दानीगेट को 12 वर्ष की अवधि के लिए अखाड़े की जमीन को लीज डीड दी गई है।

योगेश बंसल द्वारा उस जमीन में केसर मैरिज गार्डन व जलवा मैरिज गार्डन चलाए जा रहे हैं तथा बेअंत सिंह अखाड़ा बडऩगर रोड उज्जैन शाखा से भाग गया है।

फर्जी तरीके से प्रस्ताव पारित किया

बेअंत सिंह ने महंत जसविंदर सिंह व देवेन्द्र सिंह के फर्जी हस्ताक्षर कर 9 अगस्त 23 को फर्जी पत्र तैयार किया कि अखाड़े की जमीन को विकसित करने हेतु किसी व्यक्ति, संस्था अथवा फर्म को लीज पर दिए जाने का प्रस्ताव पारित हुआ है। उक्त प्रस्ताव के अनुसार उज्जैन आश्रम के गादीपति संत बेअंत सिंह गुरू महादेव को आश्रम की भूमि एवं भवन लम्बी अवधि के लिए लीज पर दिए जाने एवं लीज डीड पर अखाड़े से उप पंजीयन के समक्ष हस्ताक्षर कर लीज डीड सम्पादन हेतु एवं पंजीयन हेतु अधिकृत किया जाता है।

मादक पदार्थ तस्करी में जेल जा चुका गादीपति

तस्कर से संत बने बेअंत सिंह को पंचायती अखाड़ा निर्मल द्वारा व्यवस्थापक के रूप में अधिकृत किया गया था परंतु उसके द्वारा संस्था के नियमों, परंपराओं एवं उद्देश्यों के प्रतिकूल कार्य किया गया। संस्था की संपत्ति पर अवैध रूप से नियंत्रण स्थापित करने का प्रयास किया गया। संस्था की अनुमति के बिना कथित पॉवर ऑफ अटर्नी तैयार कराई गई।

संस्था अध्यक्ष द्वारा बेअंत सिंह के 24 फरवरी 2025 को समस्त पद निरस्त कर दिए। साथ ही पुलिस को बताया कि संत बेअंत सिंह पर पंजाब के कपूरथला जिले में मादक पदार्थों की तस्करी जैसे गंभीर आपराधिक प्रकरण पंजीबद्ध हैं जिसमें वह कारावास की सजा भुगत चुका है।

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