अंतू भाया की हत्या में चार दोषियों को आजीवन कारावास की सजा

उज्जैन, अग्निपथ। माननीय न्यायालय विवेक कुमार चंदेल अष्टम अपर सत्र न्यायाधीश ने अंतू भाया हत्याकांड के दोषियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। न्यायालय द्वारा आरोपी संकेत सोनी, कुनाल सोनी 3. हर्ष वाल्मिकी, वंश शर्मा को धारा 302/34 भादवि में आजीवन कारावास से दण्डित किया गया।

प्रभारी उप-संचालक अभियोजन राजेन्द्र कुमार खाण्डेगर ने बताया कि फरियादी गोपाल कलाल सेरी नमक मंडी का रहने वाला है। उसके 01 लडका व 01 लडक़ी है।दोनों की शादी हो चुकी है। दिनांक 19 अप्रैल 23 को उसका लडका अंकुर शर्मा उर्फ अंतु की शादी की सालगिरह थी उसके दोस्त देवेन्द्र उर्फ दारासिंह व मंगेश घर पर आये थे।

खाना खा पीकर घर के बाहर जाने के लिए खड़े थे इतने में 03 स्कूटियों पर 04 व्यक्ति आये जिसमें से 1. संकेत सोनी 2. कुनाल सोनी, 3. हर्ष वाल्मिकी, 4. वंश शर्मा चारो आकर बोले रास्ते में मोटरसायकिल क्यों खड़ी की है तभी उसका लडक़ा अंकुर उर्फ अंतु ने कहा कि हटा रहे है इसी बात पर संकेत सोनी जो उसकी कालोनी के पास रहने वाला एवं उसके साथ कुनाल सोनी, हर्ष वाल्मिकी एवं वशं शर्मा चारों लोग मां बहन की अश्लील गालिया देकर उससे बोले कि अपने आप को दादा समझता है इसे आज जान से खत्म कर देते हैं।

तभी चारों एक राय होकर मारपीट करने लगे। संकेत सोनी ने जेब में रखा चाकू निकाला उतने में कुनाल सोनी ने पास में पड़ा एक पत्थर अंकुर शर्मा की छाती में मारा जिससे अंकुर जमीन पर गिर पड़ा हर्ष ने पत्थर उठा कर मारा जो उसके पैर में बाएं तरफ लगा। इतने में वशं शर्मा ने उसको नीचे दबा लिया व संकेत सोनी ने बाए तरफ पैर में घुटने व जांघ के नीचे 03-04 बार जान से मारने की नियत से चाकू से मारा जिससे घाव होकर खून निकलने लगा।

तब उसके लडक़े का दोस्त देवेन्द्र उर्फ दारासिंह व मंगेश परमार दोनों ने बीच बचाव किया तो हर्ष वाल्मिकी ने जमीन से पत्थर उठाकर देवेन्द्र के सिर में मारा जिससे देवेन्द्र को सिर में चोट लगी और खून निकला इतने में उसकी बहू नेहा शर्मा व उसकी पत्नी कुसुम शर्मा भी बाहर आ गई, उन्होंने भी घटना देखी। चारो लोग उसके लडके को मरा हुआ समझ कर अपनी गाडियों से भाग गये, अंकुर का अधिक खून बह गया था उसे ई-रिक्शा में रखकर गोपाल व उसका भाई का लडका अमरदीप व बहु नेहा सीएच उज्जैन लेकर गये। डक्टर साहब द्वारा बताया कि अंकुर की मृत्यु हो चुकी है।

उपरोक्त विवरण पर से असल अपराध क्रं 36/23 धारा 302, 294, 323, 34 भादवि में पंजीबद्ध कर प्रथम सूचना रिपोर्ट लेख की गई एवं प्रकरण विवेचना में लिया गया संपूर्ण अनुसंधान उपरान्त अभियोग पत्र माननीय न्यायालय में प्रस्तुत किया गया। पैरवीकर्ता अधिकारी मुकेश कुन्हारे, सहायक जिला लोक अभियोजन अधिकारी के तर्कों से सहमत होकर आरोपीगण को माननीय न्यायालय द्वारा दण्डित किया गया।

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