प्रतिमाह नगर निगम को व्यय करना पड़ रहे सवा लाख
महापौर द्वारा सीएमएचओ के साथ किया गया स्थल निरीक्षण
उज्जैन, अग्निपथ। चरक भवन निर्माण के दौरान निर्माण एजेंसी द्वारा सीवरेज व्यवस्था ठीक से नहीं बनाने और इसकी सीवर लाइन जिला अस्पताल से निकलने वाली पीएचई की पुरानी सीवरेज लाईन से जुड़ी होने के कारण हर बार गंदा पानी निकलकर प्रांगण में फैल जाता है। जिसके चलते मरीज और उनके परिजनों को अस्पताल के अंदर गंदे पानी से होते हुए प्रवेश करना पड़ता है।
बुधवार को महापौर मुकेश टटवाल ने सीएमएचओ डॉक्टर अशोक पटेल के साथ चरक अस्पताल का निरीक्षण किया। आगर रोड स्थित चरक अस्पताल परिसर में आए दिन सीवरेज का पानी फैलने की समस्या उत्पन्न हो रही है। जिससे मरीजोंं एवं उनके परिवारजनों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। चरक अस्पताल की समस्या के निराकरण हेतु नगर निगम द्वारा प्रतिदिन सीवरेज मशीन के माध्यम से चार से पांच बार सीवरेज के पानी को खाली किया रहा है, जिस पर प्रतिमाह लगभग 1.25 लाख का व्यय निगम को हो रहा है।
ज्ञात रहे कि चरक भवन के सीवर का पानी जिला अस्पताल से निकलने वाली पीएचई की पुरानी सीवरेज लाईन से जुड़ी हुई थी जो कि जिला अस्पताल एवं चरक भवन के पानी को ले जाती है। वर्तमान में जिला अस्पताल की भूमि पर मेडिसिटी प्रोजेक्ट के तहत किये जा रहे निर्माण कार्यो अन्तर्गत निर्माण एजेंसी द्वारा बिना किसी यूटीलिटी सिफिटिंग के उक्त लाईन को क्षतिग्रस्त कर दिया जिससे सीवरेज लाईन चौक होने से चरक भवन में सीवर का पानी फेल रहा है।
इसके साथ ही चरक भवन द्वारा ईटीपी प्लांट पूर्ण क्षमता से कार्य नहीं कर रहा है।
नगर निगम द्वारा विगत गई दिनों से अपने सीवरेज वाहन से दिन में 4 से 5 बार पानी को खाली करवाया जा रहा है, साथ ही चरक अस्पताल वार्ड क्रमांक 25 में आता है जिसके कारण वार्ड में भी सीवर का पानी फेल रहा है, क्योंकि नालियां छोटी है जिसके कारण बार-बार नालियां भी चोक हो रही है जिससे राहगीर परेशान हो रहे हैं।
निरीक्षण के दौरान एमआईसी सदस्य डॉ. योगेश्वरी राठौर, उपायुक्त संजेश गुप्ता, स्वास्थ्य अधिकारी हरीश व्यास, स्वास्थ्य निरीक्षक मुकेश भाटी उपस्थित रहे।