बड़ोद, अग्निपथ। किसानों को मुआवज़ा राहत राशि देने में ढील बरतने और मुख्यालय से ग़ायब रहने के मामले में बड़ी कार्रवाई हुई है। अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) आगर-बड़ोद, मिलिंद ढोके ने तत्काल प्रभाव से पटवारी सुश्री हर्षिता यादव को निलंबित कर दिया है। सुश्री यादव, जो हल्का नंबर 13 खजूरी बड़ोद की पटवारी थीं, पर यह कार्रवाई राहत कार्य में लापरवाही और अनुशासनहीनता के चलते की गई है।
जारी आदेश में साफ़ कहा गया है कि पटवारी सुश्री यादव ने किसानों के मुआवज़ा राहत कार्य में तेज़ी नहीं दिखाई और ख़ुद ही लापरवाही बरती। इतना ही नहीं, वह बिना किसी पूर्व सूचना के अपने मुख्यालय से भी नदारद थीं। अधिकारी ने इस कृत्य को ‘कदाचरण और स्वेच्छाचारिता’ की श्रेणी में रखा है। यह निलंबन मध्य प्रदेश आचरण (वर्गीकरण, नियंत्रण तथा अपील) नियम, 1966 के नियम-02 के तहत किया गया है।
निलंबन की अवधि के दौरान पटवारी का मुख्यालय तहसील कार्यालय बड़ोद तय किया गया है और उन्हें नियमानुसार जीवन निर्वाह भत्ता मिलेगा। इस बीच, हल्का नंबर 13 खजूरी बड़ोद का अतिरिक्त प्रभार ब्रजमोहन वर्मा को सौंप दिया गया है। यह कार्रवाई ज़मीनी स्तर पर काम में तेज़ी लाने और अनुशासन बनाए रखने का कड़ा संदेश देती है।
