राज्य साइबर सेल के प्रयास से मिली राशि वापस
उज्जैन,अग्निपथ। राज्य साइबर सेल ने 19 दिन पहले ऑन लाइन ठगी का शिकार हुए व्यापारी के एक लाख रुपए उसे फिर ट्रांसफर करवा दिए। पीडि़त से गुगल पर जानकारी खोजने के दौरान एक लिंक पर क्लिक करने के कारण ठगी हुई थी।
राज्य साइबर सेल एसपी जितेंद्र सिंह ने बताया कि माकड़ोन स्थित ग्राम बड़ोदिया हाल मुकाम नीलगंगा क्षेत्र निवासी बीज व्यापारी राहुल पिता दिलीप धाकड़ (25) तीन जून को मधुर कोरियर का ऑफिस तलाश रहा था। जानकारी के लिए गूगल पर मधुर कोरियर का नंबर सर्च किया था। गूगल से मिले मोबाइल नंबर से संपर्क करने पर ठगों ने उसे लिंक भेज कर अन्य नंबर पर फॉरवर्ड करने का बोला और पूछताछ कर रजिस्ट्रेशन के लिए लिंक भेजी। उस पर क्लिक करने के कुछ ही देर बाद धाकड़ के एचडीएफसी अकाउंट से चार बार में एक लाख रुपए निकलने का मैसेज आ गया।
ठगी का एहसास होते ही धाकड़ ने साइबर सेल में शिकायत कर दी। इस पर उप निरीक्षक अमित परिहार, गोपाल अजनार, प्रभारी हरेंद्रपाल सिंह राठौर, आरक्षक कमलाकर उपाध्याय ने तुरंत ट्रांजेक्शन रोकने के प्रयास किए। नतीजतन राशि पुन: धाकड़ के अकाउंट में आ गई।
सजगता से 36 पहले मिल गए थे
याद रहे घटना होते ही धाकड़ ने राज्य साइबर सेल व बैंक में तुरंत शिकायत करने पर 3 जून को ही उनके खाते में पुन: 36 हजार रुपए आ गए। शेष 64 हजार के मामले में साइबर ने प्रयास किए और राशि वापस दिलवा दिए।
ऑन लाईन ठगी से बचने के 7 सूत्र
- किभी भी कस्टमर केयर का नंबर गूगल पर सर्च न करे।
- गूगल पर सभी जानकारी पूरी सही नही होती किसी भी लिंक पर क्लिक न करे।
- लिक वाले मैसेज किसी के कहने पर फॉरवर्ड न करे।
- किसी के कहने पर कोई एप (रेमोर्ट एप) डाउनलोड न करे।
- कस्टमर केयर के नंबर कभी मोबाइल नंबर नहीं होते है ।
- पिन हमेशा पेमेंट देने पर इंटर करना होता है, पेमेंट लेने पर नहीं।
- पेमेंट प्राप्त के लिए कभी भी क्यूआर कोड स्कैन नही करना होता है ।