मंडी में व्यापारी, हम्मालों, तुलावटियों में विवाद: हम्माल भडक़े, आज से हड़ताल पर, प्रशासन ने मंडी में छुट्टी की घोषणा की

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मंडी समिति ने व्यापारियों को समझौता के लिए तीन दिन का समय दिया

उज्जैन, अग्निपथ। हम्माली की दर बढ़ाने की मांग पर व्यापारियों द्वारा कोई रुख साफ नहीं करने की वजह से आज से मंडी अनिश्चितकालीन के लिए बंद हो गई है। मंडी समिति, हम्माल और व्यापारियों के बीच सामंजस्य नहीं बैठ पाने की वजह से किसानों को मंडी समिति ने फसल न आने की सलाह दी है। किसानों से कहा गया है कि आगामी दिनों में हम्मला और तुलावटियों की हड़ताल को देखते हुए वे अपनी फसल मंडी में लेकर न आएं। क्योंकि उनकी नीलामी नहीं हो पाएगी।

हम्माल और तुलावटी एसोसिएशन के गफ्फार लाला, सादिक भाई, कैलाश मीणा, सुनील मीणा का कहना है कि वे छह माह से ज्यादा समय से मंडी समिति और व्यापारियों को हम्माली और तुलावटियों की पारिश्रमिक दर बढ़ाने का आग्रह कर रहे हैं। परन्तु व्यापारी उनकी मांग पर सकारात्मक जवाब नहीं दे रहे हैं।

इससे परेशान होकर उन्होंने हड़ताल का फैसला लिया है। बुधवार को भी वे कलेक्टर से मिलने गए थे, उनसे समस्या का निराकरण की मांग की थी, परन्तु उन्होंने बताया कि व्यापारी शहर से बाहर गए हुए हैं। इसलिए वे कुछ भी फैसला नहीं ले पाएंगे। अत: आज से मंडी में हड़ताल रहेगी।

उधर उज्जैन कृषि उपज मंडी सचिव दिनेश शर्मा बसेडिया ने मंडी के व्यापारियों को एक पत्र जारी किया है। इसमें उन्होंने 11 नवंबर 2021 को हम्माल संगठनों द्वारा दिए गए मांग पत्र का हवाला देते हुए व्यापारियों से कहा कि वे हम्माल और तुलावटियों की समस्या का कोई निराकरण नहीं कर रहे हैं। इससे हड़ताल की नौबत आ गई है ।

अगर अगले तीन दिन में व्यापारियों ने इस मसले का हल हम्माल और तुलावटियों के साथ बैठकर नहीं निकाला तो लोडिंग और अन लोडिंग का काम बंद कर दिया जाएगा। सचिव ने बताया कि फल एवं सब्जी मंडी में हड़ताल का कोई असर नहीं रहेगा। यहां सामान्य दिनों की तरह कामकाज होगा।

उल्लेखनीय है कि दो दिन पहले अनुज्ञा पत्र जारी नहीं करने के आदेश मंडी सचिव द्वारा दिए गए थे। परन्तु इससे व्यापारियों पर कोई फर्क नहीं पड़ा और उन्होंने हम्माल और तुलावटियों की मांग पर कोई फैसला नहीं किया। व्यापारियों का कहना है कि तुलावटियों और हम्मालों की दर संभाग में सबसे ज्यादा है।

समर्थन मूल्य पर खरीदी से समिति तनाव में

आगामी दिनों में सरकार समर्थन मूल्य पर गेहूं की खरीदी करेगी। इस दौरान तुलावटी और हम्मालों की जरूरत पड़ेगी। परन्तु उज्जैन मंडी में दोनों ही पक्षों के बीच विवाद होने की वजह से संकट खड़ा हो जाएगा। मंडी समिति ने व्यापारियों को ताकीद किया है कि समर्थन मूल्य की खरीदी से पहले हम्माल और तुलावटियों के साथ बैठकर समस्या का हल निकाल लें।

व्यापारियों की बैठक में नहीं बन पाई थी सहमति

पिछले दिनों व्यापारियों ने हम्माल और तुलवटियों की मांग को लेकर एक बैठक बुलाई थी। इसमें कुछ पदाधिकारी दर बढ़ाने के पक्ष में थे, परन्तु कुछ सदस्यों ने असहमति जताई थी। इसके बाद बैठक में विवाद बढ़ गया था और मामले में फैसला बाद में लेने का निर्णय किया गया था।

इनका कहना है

हम्मालों और तुलावटियों ने गलत समय पर हड़ताल का फैसला लिया है। प्रशासन पहले हड़ताल को खुलवाए उसके बाद इस मामले में व्यापारी बात करेंगे। अभी मैं पारिवारिक कारणों से बाहर हूं। शहर में आकर हम्माल और तुलावटियों से बात करके समस्या का निराकरण किया जाएगा। अनुज्ञा रोकने का फैसला गलत है। सरकार को जिसका टैक्स जमा कराया जा चुका है। उसे रोकना गलत है।
-गोविंद खंडेलवाल, अध्यक्ष अनाज तिलहन संघ उज्जैन।

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