अभा अखाड़ा परिषद ने कलेक्टर से की महाकाल के पुजारी शर्मा की शिकायत

मंदिर में नियम विरुद्ध पूजा करने, परंपरा तोडऩे व साधु-संतों से अनावश्यक विवाद करने का आरोप लगाकर कार्रवाई की मांग

उज्जैन, अग्निपथ। अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने ज्योतिर्लिंग महाकालेश्वर मंदिर के पुजारी महेश शर्मा की मंदिर प्रबंध समिति के अध्यक्ष एवं कलेक्टर आशीष सिंह से लिखित में शिकायत की है। उक्त शिकायत में स्पष्ट रूप से अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के उज्जैन के नीलगंगा स्थित प्रधान केंद्रीय कार्यालय के स्थानीय प्रबंधक महंत रामेश्वर गिरि महाराज ने लिखा है कि महाकालेश्वर मंदिर में पुजारी महेश शर्मा द्वारा परंपरागत व्यवस्थाओं से छेड़छाड़ की जा रही है। इसलिए उनके विरुद्ध दंडात्मक कार्रवाई की जाए।

उल्लेखनीय है कि ज्योतिर्लिंग महाकालेश्वर मंदिर अति प्राचीन होकर शासकीय नियंत्रण अंतर्गत स्वतंत्र अधिनियम एक्ट धारक मंदिर है। शासन, प्रशासन द्वारा वर्तमान में मंदिर के जीर्णोद्धार और सौंदर्यीकरण के कार्य से समस्त सनातन धर्मावलंबी प्रसन्न एवं प्रफुल्ल है। मंदिर में परंपरागत रूप से जनैऊ पाती व खूंट पाती के वंशज पुजारी हैं। इनमें सभी पुजारी नियम व अनुशासन के अंतर्गत पूजन-पाठ व सेवा कार्य कर रहे हैं। लेकिन कुछ एक पुजारी ऐसे भी है जो कि मंदिर को अपनी बपौती समझते हैं। खुलेआम दादागिरी, हठधर्मिता, पूर्वाग्रह मानसिकता से ग्रसित होकर मंदिर और देवता के प्राचीन परंपराओं और मर्यादाओं को तोड़ रहे हैं। इसका प्रमाण गत 5 जून 2022 को प्रात: भस्म आरती के दौरान सामने आया।

भाई के स्थान पर खुद भस्मारती करने आए

पुजारी महेश शर्मा जो कि स्वयं को धर्माधिकारी व नियम अधिकारी बताते हैं लेकिन मंदिर के प्रावधानों सर्वोच्च न्यायालय के आदेशों का खुद ही मखौल उड़ाते नजर आ रहे हैं। घटना की भस्म आरती पूजन की है। श्री महाकालेश्वर मंदिर की मर्यादा अनुसार भगवान की पारंपरिक पूजा स्वयं पुजारी के अतिरिक्त और कोई अन्य पंडित या पुजारी नहीं कर सकता है। ना ही इसमें कोई हस्तक्षेप कर सकता है। उक्त दिनांक को पुजारी महेश शर्मा अपने भाई के स्थान पर भस्म आरती करने आए और एक अनाधिकृत बाहरी व्यक्ति से परंपरागत पूजन करवाई।

भस्म आरती की व्यवस्था में उसे शामिल कराया तथा श्री महाकालेश्वर का पंचामृत पूजन करवाया गया जो कि नियम के विपरीत होकर मंदिर के मर्यादा व परंपरा का भी उल्लंघन है। अत: उक्त दिनांक को की गई पूजन के सीसीटीवी फुटेज की जांच करा कर परंपराओं से किए गए उल्लंघन पर संबंधित के खिलाफ कार्रवाई की जाए। ताकि मंदिर में भविष्य में इस तरह का आचरण की पुनरावृत्ति ना हो सके। साथ ही इस संबंध में कड़े निर्देश भी जारी हों।

अखाड़ों के साधु संतों से अभद्रता

उल्लेखनीय है कि पुजारी महेश शर्मा द्वारा आए दिन देशभर से आने वाले अखाड़ों के साधु संतों के साथ भी अभद्रता, पूर्ण अमर्यादित व्यवहार किया जाता है जिसकी शिकायत भी लगातार अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के पदाधिकारियों को मिलती रही है। अत: मामले में पुजारी महेश शर्मा पर अनुशासनात्मक कार्रवाई कर मंदिर की पूजा विधि में सम्मिलित होने से रोका जाए।

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