स्वच्छता सर्वेक्षण से पहले बकाया भुगतान के लिए आयुक्त से मिले ठेकेदार
उज्जैन, अग्निपथ। स्वच्छता सर्वेक्षण 2023 से जुड़े काम प्रारंभ होने से पहले नगर निगम के ठेकेदारों ने बकाया भुगतान लेने के लिए फिर से दबाव बनाने की रणनीति पर काम शुरू किया है। गुरूवार दोपहर नगर निगम बिल्डर एसोसिएशन के सदस्य नगर निगम आयुक्त रोशन कुमार सिंह से मिले और पुराना बकाया भुगतान कराने की मांग रखी। ठेकेदारों ने आयुक्त से कहा है कि स्वच्छता सर्वेक्षण के नए काम कराने से पहले ठेकेदारों का पुराना भुगतान क्लियर कराएं।
नगर निगम के करीब 120 ठेकेदारों के सितंबर 2020 से अब तक के तकरीबन 60 करोड़ रूपए बकाया चल रहे है। आयुक्त के रूप में रोशन कुमार सिंह की पदस्थापना के बाद से अब तक किसी भी ठेकेदार को पुराने बकाया का भुगतान नहीं किया गया है। गुरूवार दोपहर में जब ठेकेदार नगर निगम आयुक्त रोशन कुमार सिंह से मिले तो सभी ने एक स्वर में मांग रखी कि बकाया पुराना भुगतान पूरा किया जाए, इसके बाद ही नए काम खोले जाए।
आयुक्त ने साफ शब्दो में कह दिया- यह संभव नहीं है। आयुक्त ने कहा कि फिलहाल सभी ठेकेदारों का बकाया 10 प्रतिशत भुगतान कर दिया जाएगा, इसके बाद भी इसी तरह किश्तों में भुगतान हो सकेगा।
आय 13 करोड़ खर्च 15 करोड़
नगर निगम उज्जैन की माली हालत फिलहाल बेहद खराब है। नगर निगम की हर महीने औसत आय केवल 13 करोड़ रूपए के लगभग है जबकि वेतन, सफाई, बिजली बिल व अन्य खर्चो पर ही हर महीने औसत 15 करोड़ रूपए खर्च हो रहे है। यहां का स्थापना व्यय ही 120 प्रतिशत है। यानि नगर निगम हर महीने का अपना खर्च उठाने की भी स्थिति में नहीं है।
महापौर मुकेश टटवाल ने जरूर इसी महीने राज्यशासन से लगभग 125 करोड़ रूपए मांगे है लेकिन नगर निगम से जुड़े सूत्र बताते है कि राज्यशासन ने उज्जैन नगर निगम को किसी तरह की अतिरिक्त राशि मुहैया कराने से इंकार कर दिया है। शासन की ओर से कहा गया है कि उज्जैन नगर निगम का शासन तरफ कुछ भी बकाया नहीं निकल रहा है। अपने खर्च को खुद नियंत्रित करो और बचे हुए पैसो से कर्जा चुकाओ, विकास के काम कराओ।
एक अपर आयुक्त ने उठाए सफाई पर सवाल, दूसरे ने चिपकाई शायरी
उज्जैन,अग्निपथ। नगर निगम में अपर आयुक्त आर.एस. मंडलोई और अपर आयुक्त वित्त आदित्य नागर के बीच जारी जंग में गुरूवार को एक दिलचस्प घटनाक्रम हुआ। नगर निगम के अधिकारियों के एक व्हाट्सएप ग्रुप में अपर आयुक्त मंडलोई ने शहर की सफाई व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए। इसके जवाब में अपर आयुक्त आदित्य नागर ने शायरी चिपका दी।
अधिकारियों के व्हाट्सएप ग्रुप में अपर आयुक्त मंडलोई ने लिखा कि शहर में साफ-सफाई स्विपिंग, नाला-नाली की सफाई, बैकलाईन की सफाई, शौचालयों की सफाई की स्थिति काफी गंभीर है। शहर में असहाय पशु एवं सूअर अधिक संख्या में विचरण कर रहे है। जैसे ही मंडलोई का यह मैसेज आया, इसके कुछ ही देर बाद अपर आयुक्त वित्त आदित्य नागर का रिप्लाय आ गया। उन्होंने जवाब दिया- आईना देख हैरान न हो, कुछ भी हो बदनाम न हो। नागर ने इन लाईनों में उपायुक्त संजेश गुप्ता को टैग किया। संजेश गुप्ता सफाई के प्रभारी है।