महाकाल लोक के 18 दुकानदारों को अब नहीं देना होंगे 45 से 55 लाख रुपए

इंदौर हाईकोर्ट से मिली राहत, प्रीमियम दर की पुनर्गणना करने को कहा

उज्जैन, अग्निपथ। महाकाल मंदिर के बाहर बने महाकाल लोक में स्थित मिडवे जोन की दुकानों के आवंटन को लेकर लंबे समय से कानूनी लड़ाई लड़ रहे 18 दुकानदारों को इंदौर हाईकोर्ट से बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने स्मार्ट सिटी और नगर निगम को 45 से 55 लाख रुपए की वसूली नहीं करने के निर्देश दिए है।

दरअसल इन दुकानों के आवंटन की प्रीमियम दरों के रूप में यह राशि वसूली जा रही थी। फिलहाल हाईकोर्ट ने इस राशि की पुनर्गणना करने और न्यूनतम लागत लगाने के साथ केवल नया कंस्ट्रक्शन शुल्क वसूलने के आदेश दिए हैं। इस फैसले के आने के बाद से दुकानदार खुश है। कोर्ट ने स्पष्ट निर्देश दिए है कि सभी दुकानदारों को 60 दिनों के भीतर दुकानें आवंटित की जाएं। साल 2020 में जब महाकाल लोक निर्माण किया गया तब पहले से नगर निगम से 9.5 लाख रुपए में खरीदी गई इन दुकानों को खाली करा लिया गया था।

उस वक्त दुकानदारों को आश्वासन दिया गया था कि महाकाल लोक बनने के बाद उन्हें मिडवे जोन में नई दुकानें आवंटित की जाएंगी। लेकिन साल 2022 में जब महाकाल लोक तैयार हुआ तो स्मार्ट सिटी ने दुकानदारों को पत्र जारी कर प्रथम तल पर दुकान आवंटन की प्रक्रिया शुरू की, लेकिन प्रत्येक दुकानदार से 45-55 लाख रुपए जमा करने को कहा गया जो कि काफी ज्यादा थी।

इतनी बड़ी राशि दुकानदार कहां से जमा करते। इस पर आपत्ति लेते हुए दुकानदारों ने पहले कलेक्टर और फिर उज्जैन संभाग के कमिश्नर से शिकायत की, लेकिन यहां जब उनकी सुनवाई नहीं हुई तो उन्हें हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ा।

10 लाख की दुकान के लिए 55 लाख, दुकानदार हैरान

दुकानदारों ने मीडिया को बताया कि पहले 10 लाख रुपए देना तय हुआ था। बाद में अचानक से 45 से 55 लाख रुपए की मांग कर दी गई जे कि अनुचित थी। उन्होंने कहा कि इतनी बड़ी राशि गरीब दुकानदार आखिर कहां से ला पाते। इसलिए सभी ने तय किया कि न्याय के लिए लड़ाई लडऩा होगी।

इसके बाद हाईकोर्ट में गए और कोर्ट ने उनकी बात सुनी और राहत देते हुए केवल न्यूनतम लागत और गाइडलाइन कंस्ट्रक्शन चार्जेज लेने के आदेश जारी किए। कोर्ट में भी उनके वकील ने धारा 10 के तहत विस्थापन अधिनियम दुकान के बदले दुकान के सिद्धांत पर अपना पक्ष रखा जिसे स्वीकार किया गया।

दुकानदारों में खुशी, अब जल्द आवंटन होने की उम्मीद जताई

हाई कोर्ट से फैसला आने के बाद दुकानदारों ने उम्मीद जताई है कि स्मार्ट सिटी प्रबंधन जल्द उनकी दुकानों का आवंटन कर देगा। इसके बाद दुकानदार अपना कारोबार फिर से शुरू कर सकेंगे और महाकाल लोक पहुंचने वाले श्रद्धालुओं को खाने-पीने, फूड स्टॉल्स और अन्य आवश्यक वस्तुओं की सेवाएं उपलब्ध हो सकेंगी।

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