उज्जैन। उज्जैन नागदा मार्ग पर शनिवार दोपहर रुई गड़ा गांव में 5 साल की बच्ची बोरवेल में गिर गई। यह हादसा दोपहर में तब हुआ जब बच्ची अपनी बड़ी बहन और गांव के अन्य बच्चों के साथ बोरवेल के समीप खेल रही थी।
ग्रामीणों को पता चला तो भीड़ लग गई। पुलिस को भी सूचना दी गई। इससे पहले बच्ची को बचाने की कोशिशें शुरू हो गईं। इस बीच मौजूद लोगों में से एक ने हेकड़ी की मदद से बच्ची को बाहर निकाल लिया, लेकिन बच्ची को बचाया नहीं जा सका। बच्ची को सिविल अस्पताल ले जाया गया। यहां डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया।
घटना उज्जैन से करीब 8 किलोमीटर दूर रुई गढ़ा के जोगीखेड़ी गांव में करीब 2 बजे हुई। बच्ची के पिता पदम सिंह आंजना ने बताया कि घर के सामने खेत में एक साल पहले बोरवेल खुदवाया था। 150 फीट खुदवाने के बाद भी इसमें पानी नहीं निकला। इसके बाद इसे बंद करवा दिया, लेकिन वर्तमान में बारिश के कारण ऊपर रखी मिट्टी नीचे धंस गई। इससे गड्ढा दिखने लगा।
दोपहर में बेटी राधा उर्फ वेदिका आंजना (5) बड़ी बहन माया और गांव के दूसरे बच्चों के साथ खेल रही थी। इसी दौरान वह पैर फिसलने से बोरवेल में गिर गई। बच्ची को गिरते हुए पास ही मौजूद उसकी ताई ने देख लिया। उन्होंने तुरंत घरवालों को बताया। वहां ग्रामीण भी आ गए। लोगों का कहना है, घटना के बाद उन्होंने पुलिस थाने और कंट्रोल रूम पर सूचना दे दी थी। इसके बावजूद आधे घंटे तक कोई नहीं पहुंचा। ग्रामीणों ने अपने स्तर पर प्रयास शुरू किए।
ऐसे निकाला बच्ची को
लोगों का कहना है कि बच्ची करीब 30 फीट अंदर चली गई थी। गांव के ही अंतरसिंह ने बताया कि लोहे के सरिए को टेढ़ा कर ट्यूबवेल के अंदर डाला। यह सरिया बच्ची के कपड़ों में फंसाया। इसकी मदद से बच्ची को ऊपर निकाल लिया गया। इसके बाद बच्ची को अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। एसडीएम गोविंद दुबे ने इसकी पुष्टि की है। बच्ची के शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया गया है।
इससे पहले देवास के खातेगांव में भी एक बच्चा बोरवेल में गिरा था। उसे निकालने के लिए सेना बुलाई गई थी।