मंदिर कर्मचारियों ने कुछ देर के लिए किया काम बंद, नए वीआईपी गेट से श्रद्धालुओं का प्रवेश शुरू
उज्जैन, अग्निपथ। महाकालेश्वर मंदिर में पुराने साल की विदाई और नववर्ष नजदीक होने के चलते श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ रही है। इसको देखते हुए अब मंदिर प्रवेश द्वारों पर अनाधिकृत प्रवेश को लेकर विवाद भी होना शुरू हो गए हैं। सोमवार की दोपहर शंख द्वार पर एसएएफ पुलिसकर्मी ने स्टाफ के परिचितों को जबरन प्रवेश कराने की कोशिश की। जिसके चलते कुछ देर के लिए मंदिर समिति के कर्मचारियों ने आक्रोश स्वरूप काम बंद रखा। बाद में उनको वीआईपी गेट से प्रवेश देकर मामला सुलझाया गया।
महाकालेश्वर मंदिर में 25 दिसंबर से श्रद्धालुओं का बड़ी संख्या में आगमन शुरू हो गया था जो कि निरंतर चल रहा है। रविवार को बड़ी संख्या में श्रद्धालु भगवान महाकाल के दर्शन के लिए मंदिर पहुंचे थे। शंख द्वार, वीआईपी गेट पर बड़ी संख्या में श्रद्धालु एकत्रित हो गए थे जिनको भगवान महाकाल के दर्शन के लिए मंदिर कर्मचारियों द्वारा प्रवेश कराया जा रहा था। इस दौरान शंख द्वार पर मंदिर स्टाफ के एसएफ पुलिसकर्मी द्वारा अपने परिचितों को प्रवेश कराए जाने पर मंदिर कर्मचारियों से उनका विवाद हुआ।
मंदिर के कर्मचारियों का कहना था कि बिना अनुमति के किसी को भी शंख द्वार से प्रवेश नहीं दिया जाएगा, ऐसा मंदिर समिति की ओर से आदेश है। वहीं दूसरी ओर एसएफ पुलिस कर्मी अपने ही विभाग के अन्य पुलिस कर्मियों को प्रवेश कराने को लेकर अड़ गया। ऐसी स्थिति को देखते हुए मंदिर कर्मचारियों ने सहायक प्रशासक मूलचंद जूनवाल को घटना की सूचना दी। थोड़ी देर बाद सहायक प्रशासक श्री जूनवाल और मंदिर पुलिस चौकी प्रभारी आरके यादव मौके पर पहुंचे और उन्होंने स्टाफ के एसएफ पुलिसकर्मी को यहां से प्रवेश नहीं करवाने की समझाइश दी। बाद में उनको पुलिस चौकी बुलाकर वीआईपी गेट से दर्शन के लिए प्रवेश दिया गया।
लड्डू प्रसादी दोपहर में हुई खत्म
रविवार होने के चलते मंदिर में सुबह से ही श्रद्धालुओं की आवाजाही बनी हुई थी। शंख द्वार, वीआईपी गेट, नंदीहाल, मंदिर प्रांगण में बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे थे। श्रद्धालुओं द्वारा 250 रुपए टिकट लेकर बड़ी संख्या में दर्शन किए गए, जिससे मंदिर के आय में बढ़ौत्तरी हुई है। श्रद्धालुओं की भीड़ के चलते लड्डू प्रसादी दोपहर 2 बजे के लगभग सभी काउंटरों से समाप्त हो गई थी। करीब 2 घंटे के बाद लड्डू प्रसादी की सप्लाई शुरू हो सकी।
नए द्वार से विश्राम धाम होकर दर्शन के लिए प्रवेश
दैनिक अग्निपथ ने शनिवार को समाचार प्रकाशित किया था, जिसमें बताया गया था कि रविवार से नए वीआईपी गेट को श्रद्धालुओं के लिए खोल दिया जाएगा। महाकालेश्वर मंदिर के वीआईपी गेट पर मंदिर विस्तारीकरण के तहत कार्य चल रहा है, जिसके चलते प्रोटोकॉल और 250 रुपए शीघ्र दर्शन टिकट धारियों को प्रवेश करने में परेशानी का सामना करना पड़ रहा था।
साथ ही मंदिर कर्मचारियों को सीधे कोरोना संक्रमण के इस दौर में श्रद्धालुओं से रूबरू होना पड़ता था, जिसके चलते उनके कोरोना संक्रमित होने की संभावना बनी हुई थी। इसी को देखते हुए रविवार को सुबह वीआईपी गेट को भस्म आरती गेट के पास बनाए गए वीआईपी कक्ष में स्थानांतरित कर दिया गया। यहां पर भी श्रद्धालुओं की सुबह से ही भीड़ लगी हुई थी।
यहां पर श्रद्धालुओं को लड्डू प्रसादी के साथ-साथ 250 रुपए शीघ्र दर्शन टिकट की सुविधा भी मिल रही है। श्रद्धालुओं को प्रवेश द्वार से होकर विश्राम धाम तक ले जाया जा रहा है। यहां से उनको प्रवेश नगाड़ा गेट से नंदीहाल और गणपति मंडपम में दिया जा रहा है।
जूता स्टैंड पुराने वीआईपी गेट पर होगा स्थानांतरित
नए वीआईपी गेट पर जूता स्टैंड भी स्थानांतरित किया गया है, जो कि बाउंड्री के अंदर ही है। श्रद्धालु यहां पर जूते चप्पल उतार कर वापस इसी प्रवेश द्वार से इनको लेने के लिए लौट रहे हैं। बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं का जमावड़ा यहां पर हो रहा था। इसको देखते हुए सहायक प्रशासक श्री जूनवाल ने जूता स्टैंड यहां से वापस पुराने वीआईपी गेट पर ही स्थानांतरित करने का निर्णय लिया। श्रद्धालु पुराने वीआईपी गेट पर अपने जूते चप्पल उतार कर बेरिकेड के अंदर से होते हुए नए वीआईपी प्रवेश द्वार पर पहुंचेंगे और वापस निकलते समय 6 नंबर गेट से होते हुए पुराने जूता स्टैंड पर पहुंचेंगे। सोमवार से यह व्यवस्था लागू कर दी जाएगी।