उज्जैन, अग्निपथ। महाकाल मंदिर के सहायक पुजारी और उनका पुरोहित भाई घर के सामने बनाए गए कंटेंमेंट जोन से चोरी छुपे मंदिर आ रहे थे। जानकारी लगने और सीसीटीवी फुटेज देखने के बाद तहसीलदार और कोविड की इंसीडेंट कमांडर ने उनके खिलाफ महाकाल थाने में धारा- 188 महामारी एक्ट में प्रकरण दर्ज कराया है।
सिंहपुरी निवासी एक महिला कोरोना पॉजीटिव हो गई थी। 13 अप्रैल को इस कारण उनके घर के बाहर नियम अनुसार माइक्रो कंटेनमेंट जोन बनाया था। तथा निर्देशित किया गया था कि 27 अप्रैल तक उनके परिवार का कोई सदस्य कंटेनमेंट जोन से बाहर ना आए। लेकिन इसके बाद भी पीडि़ता के पति सहायक पुजारी शैलेंद्र शर्मा एवं उनके भाई पुरोहित अजय शर्मा दोनों घर से बार-बार निकलकर और कोरोना प्रोटोकॉल का उल्लंघन कर रहे थे। 16 अप्रैल को सुबह 10.58 पर सहायक पुजारी शैलेन्द्र शर्मा महाकाल मंदिर परिसर में आए। उसके बाद उनके भाई अजय शर्मा भी मंदिर में आए। 17 अप्रैल को सुबह 10.02 मिनट पर दोनों भाई आगे-पीछे महाकाल मंदिर आए। इस प्रकार इनके द्वारा जिला दंडाधिकारी के आदेश पर उल्लंघन किया गया है। सहायक पुजारी शैलेंद्र शर्मा और उनके भाई अजय शर्मा द्वारा धारा- 188 भारतीय दंड विधान का अपराध घटित किया गया है। पूरे मामले के साक्षी महाकाल मंदिर प्रबंध समिति के सहायक प्रशासक मूलचंद जोनवाल रहे। मामले में महाकाल थाने में प्रकरण दर्ज किया गया है।
इनका कहना है
मामले की जानकारी प्राप्त हुई थी। इसका सीसीटीवी फुटेज से वेरिफिकेशन किया गया तो मामला सही निकला। महाकाल थाने में प्रकरण दर्ज कराया गया है। -पूर्णिमा सिंघी, तहसीलदार और इंसीडेंट कमांडर
इधर, मिसाल पेश कर रहा दूसरा पुजारी परिवार
जहां एक ओर कुछ पुजारी और पुरोहित अपने सगे संबंधियों के कोरोना संक्रमित होने के बावजूद मंदिर आ रहे हैं। वहीं एक पुजारी परिवार कोरोना नियमों का पूरी तरह से पालन करते हुए अन्य को संक्रमण से बचाने का प्रयास कर रहा है। मंदिर में काका नाम से मशहूर एक पुजारी की हाल ही में मौत हुई थी।
बताया जा रहा था कि वह कोरोना संक्रमित हो गए थे। बाद में उनके परिवार ने रिपोर्ट नेगेटिव आने की बात भी कही थी। लेकिन उनके तीन भतीजे जिनमें पुजारी भी शामिल हैं। आज दिनांक तक मंदिर नहीं आए हैं और घर पर ही बैठकर कोरोना नियमों का पालन कर रहे हैं।