नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी (BJP) की नई राष्ट्रीय कार्यकारिणी का ऐलान गुरुवार को हुआ। बीजेपी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी से वरुण गांधी को बाहर कर दिया गया है। वरुण काफी समय से सरकार की नीतियों के खिलाफ बयानबाजी कर रहे थे। वरुण की बयानबाजी का खामियाजा उनकी मां मेनका गांधी को भी भुगतना पड़ा है और मेनका को भी भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी से बाहर कर दिया गया है।
बीजेपी ने 80 सदस्यों की राष्ट्रीय कार्यकारिणी का ऐलान किया है। इसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, लाल कृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी, केंद्रीय मंत्री अमित शाह और राजनाथ सिंह भी शामिल हैं। इनके अलावा मिथुन चक्रवर्ती को भी नई राष्ट्रीय कार्यकारिणी जगह मिली है। राष्ट्रीय कार्यकारिणी से विनय कटियार को भी निकाला गया है।
अगले साल होने वाले पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव से ठीक पहले भारतीय जनता पार्टी की घोषित नई राष्ट्रीय कार्यकारिणी में 50 विशेष आमंत्रित सदस्य और 179 स्थायी आमंत्रित सदस्य (पदेन) भी होंगे, जिनमें मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री, विधायक दल के नेता, पूर्व उपमुख्यमंत्री, राष्ट्रीय प्रवक्ता, राष्ट्रीय मोर्चा अध्यक्ष, प्रदेश प्रभारी, सह प्रभारी, प्रदेश अध्यक्ष, प्रदेश महामंत्री संगठन और संगठक शामिल हैं। भाजपा की राष्ट्रीय कार्यसमिति विभिन्न मुद्दों पर चर्चा करती है और संगठन के कामकाज की रूपरेखा तय करती है। कोविड-19 महामारी के चलते लंबे समय से राष्ट्रीय कार्यसमिति की बैठक नहीं हुई है।
कार्यसमिति के मनोनित सदस्यों में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया और शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान सहित कई केंद्रीय मंत्री, सांसद व वरिष्ठ नेता शामिल हैं। कार्यसमिति में पूर्व मंत्रियों हर्षवर्धन, प्रकाश जावड़ेकर और रविशंकर प्रसाद को भी जगह दी गई है।
दरअसल, जब आज भाजपा ने 80 सदस्यीय राष्ट्रीय कार्यकारिणी घोषित की तो सबकी नजर इस बात पर गई कि इसमें वरुण गांधी का नाम नहीं है। बीते कुछ समय से वरुण गांधी न सिर्फ केंद्र की मोदी सरकार की नीतियों और कार्यप्रणाली पर सवाल उठाते रहे हैं, बल्कि लखीमपुर खीरी कांड को लेकर भी योगी सरकार के खिलाफ लगातार मुखर रहे हैं। लखीमपुर खीरी कांड में वरुण गांधी हर दिन ट्वीट कर-करके योगी सरकार पर दबाव बनाते नजर आए हैं।
पीलीभीत से सांसद वरुण गांधी ने आज भी लखीमपुर कांड का नया वीडियो सामने आने के बाद ट्वीट किया था और अपनी ही सरकार को घेरते हुए लिखा था- यह वीडियो बिल्कुल शीशे की तरह साफ है। प्रदर्शनकारियों का मर्डर करके उनको चुप नहीं करा सकते हैं। निर्दोष किसानों का खून बहाने की घटना के लिए जवाबदेही तय करनी होगी। हर किसान के दिमाग में उग्रता और निर्दयता की भावना घर करे इसके पहले उन्हें न्याय दिलाना होगा।’