मूलभूत सुविधाओं की अनदेखी के चलते बनाया मन
रुनिजा (बडऩगर) अग्निपथ। ग्राम पंचायत माधवपुरा के क्षेत्र रुनिजा रेल्वे स्टेशन इलाके के नागरिक कई मूलभूत सुविधाओं से वंचित है। जिसको लेकर इस बार 25 जून को होने वाले पंचायत चुनाव में कई परिवारों ने चुनाव के बहिष्कार का मन बनाया है। इस क्षेत्र में 20 प्रतिशत इलाका में रिहायशी हैं। लेकिन लोग मूलभूत सुविधाओं की कमी से जूझ रहे हैं।
यहां के निवासी भंवरसिंह सलूजा ने बताया कि पेयजल की सुविधा के अलावा नालियों की सफाई व्यवस्था भी ठीक नहीं है। यहां के रहने वाले कई आदिवासी परिवारों को शासन द्वारा दी जाने वाली सुविधा भी नहीं मिल रही हैं। नागरिकों ने बताया कि आजाद भारत के बाद से लगाकर वर्ष 1993, 94 से जब से माधोपुरा पंचायत रुनिजा पंचायत से अलग हुई है। तब से सभी राजनीतिक पार्टियों और जनप्रतिनिधियों ने वोट की खातिर हमारा दोहन ही किया है। सुविधा के नाम पर सिर्फ आश्वासन मिला है।
3 वर्ष पूर्व यहां 1 करोड़ सत्तर लाख रुपए की नल जल योजना की सौगात माधवपुरा पंचायत को मिली थी। लेकिन अतिक्रमण के चलते तथा प्रशासन व जनप्रतिनिधियों , अधिकारियों की लापरवाही के चलते रेल्वे स्टेशन पर नल जल योजना की कोई सुविधा नहीं है। इस संदर्भ में कई बार ठेकेदार को भी कहा तो उसने अतिक्रमण की बात को कह कर पल्ला झाड़ लिया। यहां विगत 3, 4 वर्ष पूर्व दिलीप बिल्डकॉन द्वारा बडऩगर खाचरोद एवं खाचरोद रुनीजा सडक़ का निर्माण किया रेलवे स्टेशन पर नाली का निर्माण कर दिया लेकिन विगत तीन – चार वर्षों से उक्त नालियों की साफ-सफाई नहीं होने से आज कई घरों में बदबू व नालियों का पानी रिटर्न जा रहा है।
इस संदर्भ में राधेश्याम चौधरी ने बताया कि नालियों का बदबूदार पानी एवं गन्दा पानी हमारे घर में घुस जाने से सोयाबीन खराब हो गई। इसी प्रकार की समस्या को कलम दास बैरागी ने बताई तो भंवर सिंह सलूजा ने बताया कि नालियों की सफाई नहीं होने से हमारे घरों में भी नालियों का पानी रिटर्न मार रहा था । जिसको लेकर मजदूर कर हमारे बच्चों के द्वारा स्वयं नालियों की साफ सफाई की जा रही है। ऐसी ऐसी स्थिति में हम कैसे मतदान करें। यही नहीं रेल्वे स्टेशन क्षेत्र में रहने वाले कई आदिवासी परिवारों ने बताया कि सुविधा के नाम पर हमें कभी मिला तो थोड़ा बहुत राशन मिला है। आवास योजना सहित योजनाओं का हमें कोई लाभ नहीं मिला।
गरीबी रेखा के राशन कार्ड नहीं
यही नहीं कई परिवारों के पास आज भी गरीबी रेखा के राशन कार्ड नहीं है। जबकि माधवपुरा में ऐसे कई परिवार हैं जिनके पास ट्रैक्टर, चार पहिया, दो पहिया वाहन बड़े बड़े मकान आदि होने के बाद गरीबी रेखा कूपन का लाभ ले रहे हैं तथा वर्तमान में भी कई लोगों को प्रधानमंत्री आवास योजना स्वीकृत होने की जानकारी मिली है वह भी कई लोग ऐसे हैं जिनके पहले से ही पक्के मकान बने हुए हैं । समस्याओं को देखते हुए इस बार हमने सोचा है कि हम वोट डालने ही नहीं जाएं तो अच्छा है। लोकतंत्र के इस उत्सव का और अपने अधिकारों का उपयोग करने से यदि आम मतदाता मना करता है। यह एक विचारणीय प्रश्न है? प्रशासनिक अधिकारियों को व जनप्रतिनिधियों को इस बारे में विचार करना चाहिए और इनकी मूलभूत सुविधाओं का ध्यान रखते हुए उन्हें सुविधाएं मुहैया कराना चाहिए।