अभा कालिदास समारोह का राज्यपाल मंगूभाई पटेल ने किया उद्घाटन

उज्जैन। देव प्रबोधिनी एकादशी के अवसर पर शुक्रवार को मध्य प्रदेश के राज्यपाल मंगुभाई पटेल के मुख्य आतिथ्य में सात दिवसीय अखिल भारतीय कालिदास समारोह-2022 का शुभारम्भ किया गया। कार्यक्रम के सारस्वत अतिथि तुलसी पीठाधीश्वर पद्म विभूषण जगदगुरू स्वामी रामभद्राचार्यजी महाराज थे। कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रदेश की संस्कृति मंत्री उषा ठाकुर और उच्च शिक्षा मंत्री डॉ.मोहन यादव ने की। सांसद अनिल फिरोजिया, महापौर मुकेश टटवाल, विधायक महिदपुर श्री बहादुरसिंह चौहान बतौर विशिष्ट अतिथि कार्यक्रम में शामिल हुए।

      उल्लेखनीय है कि शुक्रवार को कालिदास संस्कृत अकादमी के पं.सूर्यनारायण व्यास संकुल सभागृह में विक्रम विश्वविद्यालय और कालिदास संस्कृत अकादमी मध्य प्रदेश संस्कृति परिषद के संयुक्त तत्वावधान में कालिदास समारोह का शुभारम्भ कार्यक्रम आयोजित किया गया। अतिथियों द्वारा महाकवि कालिदास और पं.सूर्यनारायण व्यास के चित्र के समक्ष दीप प्रज्वलित कर तथा माल्यार्पण कर कार्यक्रम का विधिवत शुभारम्भ किया गया। शासकीय माधव संगीत महाविद्यालय के स्टाफ और विद्यार्थियों द्वारा सरस्वती गान और इसके पश्चात मध्य प्रदेश गान का गायन किया गया। संस्कृति मंत्री और उच्च शिक्षा मंत्री द्वारा शाल और श्रीफल भेंट कर राज्यपाल का स्वागत किया गया। इसके पश्चात अतिथियों द्वारा पुस्तक दुर्वा और मेघदूत का भोजपुरी अनुवाद, कालिदास राष्ट्रीय चित्रकला प्रदर्शनी के ब्रोशर का विमोचन किया गया। कालिदास संस्कृत अकादमी के निदेशक और संचालक संस्कृति संचालनालय भोपाल श्री अदीति कुमार त्रिपाठी ने स्वागत भाषण दिया।

      इसके पश्चात मध्य प्रदेश शासन के संस्कृति विभाग द्वारा पद्मभूषण श्री बुधादित्य मुखर्जी (सितार वादन), पद्मश्री डॉ.पुरू दाधिच (कथक नृत्य), श्री वासुदेव कामथ (चित्रकला) और रंगकर्मी एवं प्रसिद्ध अभिनेता श्री राजीव वर्मा को शासन के प्रतिष्ठित अलंकरण ‘राष्ट्रीय कालिदास सम्मान’ से विभूषित किया गया। जानकारी दी गई कि पहली बार ये चारों सम्मान कालिदास समारोह में दिये जा रहे हैं। उपरोक्त सभी कलाकारों ने मध्य प्रदेश शासन के प्रति सम्मानित किये जाने पर आभार व्यक्त किया।

      कार्यक्रम के सारस्वत अतिथि स्वामी रामभद्राचार्यजी महाराज ने संस्कृत में आशीर्वचन दिया। संस्कृति मंत्री सुश्री उषा ठाकुर ने अपने उद्बोधन में कहा कि महाकवि कालिदास के सम्पूर्ण जीवन का वर्णन हमारे द्वारा समय-समय पर सुना और पढ़ा जाता रहा है। साहित्य, कला, संस्कृति और संस्कार मानव जीवन को परिपूर्ण करते हैं। इन विधाओं के सम्पूर्ण विकास के लिये संस्कृति विभाग द्वारा निरन्तर प्रयास किये जा रहे हैं। आने वाली पीढ़ी रामचरित मानस के आदर्शों को अपने जीवन में उतार सके, उनसे परिचित हो सके, इसके लिये संस्कृति विभाग द्वारा रामचरित मानस पर आधारित ऑनलाइन परीक्षा का आयोजन बीते दिनों किया गया है। मंत्री सुश्री ठाकुर ने कहा कि उन्होंने महू विधानसभा में 234 स्कूलों का नाम देश के महान क्रान्तिकारियों के नाम पर रखा है। आने वाली पीढ़ी क्रान्तिकारियों के जीवन परिचय से भलीभांति परिचित हो, यह हम सबका प्रयास होना चाहिये। सभी लोग अपने घरों में देश के महान क्रान्तिकारियों के चित्र अवश्य लगायें।

महाकवि कालिदास की कृतियां आनन्दित करती  है

 राज्यपाल मंगुभाई पटेल ने इस अवसर पर कहा कि आज अखिल भारतीय कालिदास समारोह कार्यक्रम में सभी के बीच में वे प्रसन्नता का अनुभव कर रहे हैं। महाकवि कालिदास की कृतियां और शास्त्रीय संगीत हम सभी को समय-समय पर आनन्दित करता रहा है। संगीत से मन प्रफुल्लित होता है। आज जिन कलाकारों को राष्ट्रीय कालिदास सम्मान से विभूषित किया गया है, उन्होंने समय-समय पर लोगों का अपनी कला और संस्कृति के माध्यम से मनोरंजन किया है। कथक नृत्य भगवान की स्तुति पर आधारित होता है। श्री पटेल ने कहा कि वे मध्य प्रदेश शासन को इस आयोजन के लिये धन्यवाद देते हैं। उन्होंने कहा कि बीते दिनों श्री महाकाल लोक का प्रसारण पूरी दुनिया के 24 देशों में देखा गया। वहां के लोग भगवान महाकालेश्वर के प्रति आस्थावान हो गये हैं। नई पीढ़ी को भारतीय संस्कृति, कला, साहित्य, इतिहास और महापुरूषों के बारे में समय-समय पर परिचय देना चाहिये। हम सब अपने जीवन में भारत माता के प्रति हृदय से भक्ति और गौरवशाली इतिहास को उतारें और महापुरूषों के आदर्श पर चलें। हमारा साहित्य और कला सदैव हमें प्रेरणा देता रहे।

      कार्यक्रम का संचालन प्रो.शैलेन्द्र कुमार शर्मा ने किया। इसके पश्चात धन्यवाद ज्ञापन विक्रम विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो.अखिलेश कुमार पाण्डेय ने किया।

हस्त शिल्प मेले का शुभारम्भ किया

राज्यपाल ने अखिल भारतीय कालिदास समारोह के शुभारम्भ के पूर्व सर्वप्रथम कालिदास अकादमी परिसर में स्थित कवि कुलगुरू कालिदास की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। इसके बाद उन्होंने रघुवंशम में लगी प्रदर्शनी का शुभारम्भ दीप प्रज्वलन कर किया। तत्पश्चात उन्होंने अश्विनी शोध संस्थान महिदपुर द्वारा लगाई गई सिक्कों की प्रदर्शनी का फीता काट कर शुभारम्भ कर प्रदर्शनी का अवलोकन किया। राज्यपाल ने इसके बाद कालिदास अकादमी परिसर में स्थित हाथ करघा एवं हस्त शिल्प मेला का फीता काट कर एवं परिसर में श्री गणेशजी की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर दीप-दीपन कर मेले का शुभारम्भ किया। इस अवसर पर जिला पंचायत की मुख्य कार्यपालन अधिकारी सुश्री अंकिता धाकरे ने राज्यपाल को स्मृति चिन्ह भेंट किया। इ

स अवसर पर उच्च शिक्षा मंत्री डॉ.मोहन यादव, संस्कृति मंत्री सुश्री उषा ठाकुर, सांसद अनिल फिरोजिया, विधायक महिदपुर बहादुरसिंह चौहान, जिला पंचायत अध्यक्ष कमला कुंवर, उपाध्यक्ष शिवानी कुंवर, बहादुरसिंह बोरमुंडला, रूप पमनानी, संभागायुक्त संदीप यादव, आईजी संतोष कुमार सिंह, डीआईजी अनिल कुशवाह, कलेक्टर आशीष सिंह, पुलिस अधीक्षक सत्येन्द्र कुमार शुक्ल, कुलपति अखिलेश कुमार पाण्डेय, कुल सचिव डॉ.प्रशांत पुराणिक सहित गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।

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