तीन सदस्यीय जांच समिति गठित: मामला डेढ़ साल के मासूम को गर्म सरिये से दागने का

क्षेत्रीय संचालक स्वास्थ्य सेवाएं ने भी टीम का किया गठन, दोनों टीमें जायेंगी पड़ताल करने

उज्जैन, अग्निपथ। चरक अस्पताल में 22 नव बर को डेढ़ साल के मासूम को गर्म सरिये से दागा गया था, जिसको सांस लेने में तकलीफ थी। मामले में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन मप्र की संचालक द्वारा इसको लेकर सीएमएचओ को पत्र लिखकर फिर से जांच करने को कहा गया था। इसी को लेकर सीएमएचओ डॉ. दीपक पिप्पल ने तीन सदस्यीय जांच समिति गठित की है। वहीं क्षेत्रीय संचालक स्वास्थ्य सेवाएं उज्जैन द्वारा भी जांच दल गठित किया गया है। दोनों ही दल आज से मामले की पड़ताल करने जायेंगी।

दिनांक 23 नवबर को समाचार पत्रों में निमोनिया होने पर डेढ़ माह के मासूम को गर्म सरिए में दागा संबंधी समाचार प्रकाशित हुआ था। समाचार अनुसार उज्जैन जिले की महिदपुर तहसील के किशनखेड़ी में सोनू व मधु का पुत्र सोनू उम्र डेढ़ माह के बच्चे की तबीयत खराब हो गई थी। बच्चे की बुखार के साथ सर्दी खांसी हो रही थी।

ऐसे में बच्चे का चिकित्सकों से इलाज करवाने की बजाए टोटका किया और उसे गर्म सरिए से दाग दिया गया एवं सीने पर क्रॉस का निशान बनाया गया। जबकि परिजनों द्वारा टोटके किये जाने से मना किया गया था। बच्चे की हालत बिगड़ी हुई थी और उसको इंफेक्शन का भी खतरा भी था। बच्चे को ऑक्सीजन सपोर्ट पर चरक अस्पताल के पीआईसीयू में डॉक्टरों की निगरानी में रखा गया था।

जांच समिति में तीन सदस्य

सीएमएचओ ने इस मामले को लेकर तीन सदस्यीय जांच समिति गठित की थी। जांच समिति में जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ. रबिन्द्र कुमार पाल अध्यक्ष, चिकित्सा अधिकारी डॉ. रौनक एल्ची सदस्य और बीएमओ महिदपुर डॉ. मनीष उथरा को सदस्य बनाया गया था। सूत्रों से के अनुसार 1 दिसबर को पत्र जारी होने के बाद चुनाव मतगणना के चलते टीम के सदस्य अभी तक जांच करने के लिये किशनखेड़ी गांव नहीं जा पाये हैं।

तीनों जांच दल सदस्य और महिदपुर के डॉक्टर्स की टीम आज गांव किशनखेड़ी पहुंचेगी और अपनी जांच शुरू करेगी। वहीं क्षेत्रीय संचालक स्वास्थ्य सेवाएं द्वारा गठित जांच टीम भी उनके साथ जाकर मामले की पड़ताल करेगी।

स्वास्थ्य सेवा प्रदायगी संतोषप्रद नहीं

मिशन संचालक प्रियंका दास ने भेजे गये अपने पत्र में कहा कि इस प्रकार की घटनाओं से प्रतीत हो रहा है कि जिले में विकासखंडों व मैदानी स्तर पर स्वास्थ्य सेवा प्रदायगी संतोषप्रद नहीं है। उन्होंने निर्देश जारी करते हुए कहा है कि उक्त पटना की गंभीरता से लेते हुए मैदानी स्तर पर निगरानी एवं जागरूकता हेतु उचित कदम उठाते हुए जिले के समस्त अधिकारियों-कर्मचारियों- डीएचओ, जिला टीकाकरण अधिकारी, जिला कार्यक्रम प्रबंधक, डीसीएम, डीईआईएम, जिला इपीडी आदि एवं विकासखंड स्तरीय अधिकारियों-कर्मचारियो बीपीएम, बीसीएम, एएनएम, आशा आदि समस्त मैदानी कार्यकर्ताओं की इयूटी लगाते हुए समस्त विकासखंड में समस्त 5 वर्ष तक के बच्चों की स्क्रीनिंग सुनिश्चित की जाये।

1 दिसम्बर को जांच दल गठित कर दिया गया था। आज टीम मामले की जांच के लिये किशनखेड़ी जायेंगी।
डॉ. दीपक पिप्पल, सीएमएचओ उज्जैन

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