जिला अस्पताल में डेंगू का नहीं है एक भी मरीज, प्रायवेट में करवा रहे इलाज

प्रायवेट अस्पताल वाले नहीं दे रहे सूचना, मरीज भी सरकारी में नहीं करवा रहा जांच

उज्जैन, अग्निपथ। शहर में वायरल फीवर के साथ डेंगू का खतरा बढ़ रहा है। सरकारी अस्पतालों में प्रत्येक दिन ओपीडी में जहां 800 से ज्यादा मरीजों की संख्या दर्ज हो रही है, वहीं शहर के प्राइवेट अस्पतालों में 15 दिन में 20 से ज्यादा डेंगू के मरीज भर्ती हुए हैं। हालांकि जिला अस्पताल में एक भी डेंगू का मरीज भर्ती नहीं है। डेंगू के जितने भी मरीज हैं, सभी प्रायवेट अस्पताल और लैब में जांच करवा कर अपना इलाज करवा रहे हैं।

शहर में सामने आए डेंगू के मरीज नागझिरी के आसपास के रहवासी हैं। दो दिन में शहर के 5 नए मरीजों को डेंगू हुआ है व इसके साथ डॉक्टर के अनुसार इस वर्ष होने वाला वायरल फीवर अलग है व मरीजों की सेहत पर ज्यादा समय तक प्रभाव डाल रहा है। हमेशा की तुलना में इस बार वायरल फीवर ठीक होने में ज्यादा समय ले रहा है व एक बार ठीक होने पर लौट के भी आ रहा है। साथ ही बुखार के साथ ही पूरे शरीर में दर्द होना और कमजोरी होने के ज्यादा मामले देखने मिल रहे हैं।

चरक भवन और माधवनगर अस्पताल दोनों की ओपीडी मिलाकर 800 से ज्यादा मरीज दर्ज हो रहे हैं। वायरल फीवर के मरीजों की संख्या भी बढऩे लगी है और वायरल के मरीजों में डेंगू के लक्षण भी देखने मिल रहे हैं, जिनमें से मरीजों की जांच करवाने पर कुछ रिपोर्ट में डेंगू भी मिला है। वायरल फीवर के बढ़ते केस का मुख्य कारण मौसम में आया बदलाव और संक्रमण हैं।

साफ पानी में पनपते हैं लार्वा

जिला मलेरिया विभाग अधिकारी आरएस जाटवा के मुताबिक डेंगू का लार्वा साफ पानी में पनपता है यानी यह मच्छर नालियों में भरे पानी से नहीं आते, बल्कि घर में होते हैं। ऐसे में अपने घर के अंदर पानी को खुले में भरकर न रखें व घरों के आसपास भी पानी नहीं जमा होने दें। अगर कोई पानी का गड्डा है और आप उसका पानी नहीं निकला पा रहें तो उस गड्ढे में थोड़ा सा खाने का तेल डाल दें, ताकि लार्वा वहां पैदा न हो पाए। मनी प्लांट अगर बोतल में लगा रखा है तो उसे भी खाली करके रखें।

वायरल फीवर का म्यूटेशन ज्यादा

जिला अस्पताल जनरल मेडिसिन विभाग प्रभारी डॉ. एचपी सोनानिया ने बताया कि रोजाना वायरल फीवर के कई मरीज अस्पताल आ रहे हैं। हर साल वायरल फीवर में म्यूटेशन देखना मिलता है, जिसके चलते इस बार आ रहे फीवर में मरीजों को काफी परेशानी आ रही है। फीवर 15 से 20 तक नहीं जा रहा। तेज बुखार, सर्दी, खांसी के साथ ही पूरे शरीर में दर्द बना हुआ है। साथ ही बुखार के जाने के बाद भी कमजोरी की शिकायत है और कई बार तो बुखार लौट कर भी आ रहा है।

जिला चिकित्सालय में एक भी डेंगू का मरीज नहीं

जिला चिकित्सालय में मौसम परिवर्तन के कारण बढ़ते हुए बुखार एवं संक्रमण को देखते हुए महापौर मुकेश टटवाल ने निरीक्षण किया। जिला चिकित्सालय के प्रभारी डॉ.रौनक एलची व जितेंद्र शर्मा से डेंगू के लार्वा संबंधित जानकारी। उन्होंने मरीजों में डेंगू के उपचार की व्यवस्था के बारे में जानकारी लेकर मरीजों से चर्चा की। महापौर टटवाल ने बताया कि शहर में डेंगू से संबधित मरीज जिला चिकित्सालय में नहीं है।

उन्होंने सभी शहर वासियों से निवेदन किया कि घर एवं घर के बाहर पानी में जमाव के कारण डेंगू का लार्वा पैदा होता है। डेंगू का मच्छर सुबह के समय संक्रमित करता है। घर एवं घर के बाहर स्वच्छता का ध्यान रखें, पूर्ण वस्त्र धारण करे। उन्होंने नगर निगम एवं स्वास्थ्य विभाग प्रभारी को फॉगिंग की व्यवस्था करने के निर्देश प्रदान किए।

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